अब 18 अप्रैल तक बढ़ाई गई नवाब मलिक की न्यायिक हिरासत, घर का खाना और दवाइयों की मिली इजाजत
PMLA की एक विशेष अदालत ने सोमवार को महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री नवाब मलिक की न्यायिक हिरासत 14 दिनों के लिए बढ़ा दी है..
08:07 PM Apr 04, 2022 IST | Desk Team
PMLA की एक विशेष अदालत ने सोमवार को महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री नवाब मलिक की न्यायिक हिरासत 14 दिनों के लिए बढ़ा दी है। एक विशेष अदालत ने धनशोधन मामले में सोमवार को महाराष्ट्र के मंत्री नवाब मलिक की न्यायिक हिरासत 18 अप्रैल तक बढ़ा दी। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने मलिक (62) को 23 फरवरी को भगोड़े गैंगस्टर दाऊद इब्राहिम और उसके सहयोगियों की गतिविधियों से जुड़ी धनशोधन जांच के सिलसिले में गिरफ्तार किया था।
विशेष अदालत के समक्ष सोमवार को पेश किया गया
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) नेता सात मार्च तक ईडी की हिरासत में थे और बाद में उन्हें 21 मार्च तक न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया था। इसके बाद उनकी न्यायिक हिरासत को चार अप्रैल तक बढ़ा दिया गया था। मलिक को धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) से संबंधित मामलों की सुनवाई के लिए नामित एक विशेष अदालत के समक्ष सोमवार को पेश किया गया। न्यायाधीश आर. एन. रोकाडे ने उनकी न्यायिक हिरासत 18 अप्रैल तक बढ़ा दी।
बंबई उच्च न्यायालय के उस आदेश के खिलाफ मंत्री ने उच्चतम न्यायालय का रुख किया है, जिसमें जेल से तत्काल रिहाई के अनुरोध वाली उनकी अंतरिम याचिका को खारिज कर दिया गया था।
बॉम्बे हाईकोर्ट के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती
मलिक ने बॉम्बे हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है। मलिक ने दावा किया है कि उनकी गिरफ्तारी पूरी तरह से अवैध है। 15 मार्च को, बॉम्बे हाईकोर्ट ने मलिक के अंतरिम आवेदन को खारिज कर दिया था, जिसमें प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा उनके खिलाफ दर्ज मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में तत्काल रिहाई की मांग की गई थी।
विशेष अदालत के समक्ष सोमवार को पेश किया गया
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) नेता सात मार्च तक ईडी की हिरासत में थे और बाद में उन्हें 21 मार्च तक न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया था। इसके बाद उनकी न्यायिक हिरासत को चार अप्रैल तक बढ़ा दिया गया था। मलिक को धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) से संबंधित मामलों की सुनवाई के लिए नामित एक विशेष अदालत के समक्ष सोमवार को पेश किया गया। न्यायाधीश आर. एन. रोकाडे ने उनकी न्यायिक हिरासत 18 अप्रैल तक बढ़ा दी।
बंबई उच्च न्यायालय के उस आदेश के खिलाफ मंत्री ने उच्चतम न्यायालय का रुख किया है, जिसमें जेल से तत्काल रिहाई के अनुरोध वाली उनकी अंतरिम याचिका को खारिज कर दिया गया था।
बॉम्बे हाईकोर्ट के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती
मलिक ने बॉम्बे हाईकोर्ट के फैसले को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है। मलिक ने दावा किया है कि उनकी गिरफ्तारी पूरी तरह से अवैध है। 15 मार्च को, बॉम्बे हाईकोर्ट ने मलिक के अंतरिम आवेदन को खारिज कर दिया था, जिसमें प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा उनके खिलाफ दर्ज मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में तत्काल रिहाई की मांग की गई थी।
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