इजरायल के 20 लड़ाकू विमान ने ईरान के कई शहरों में मचाई तबाही
तेहरान में 30 से अधिक हथियारों का इस्तेमाल करके हमले किए
इजरायल के 20 फाइटर जेट्स ने ईरान के कई शहरों में हमला किया, जिसमें मिसाइल स्टोरेज और लॉन्च इंफ्रास्ट्रक्चर को निशाना बनाया गया। इजरायल ने इसे अपनी सुरक्षा के लिए आवश्यक बताया। अमेरिका ने भी ईरान की न्यूक्लियर साइट्स पर हमला किया है, जिससे तनाव बढ़ गया है। संयुक्त राष्ट्र महासचिव ने शांति की अपील की है।
इजरायल के करीब 20 आईएएफ फाइटर जेट्स ने केरमंशाह, हमीदान और तेहरान में 30 से अधिक हथियारों का इस्तेमाल करके हमले किए हैं। यह हमले खुफिया जानकारी के आधार पर किए गए, जिसकी पुष्टि इजरायल डिफेंस फोर्सेज (आईडीएफ) ने की है। ‘आईडीएफ’ ने बताया कि उनके टारगेट में मिसाइल स्टोरेज और लॉन्च इंफ्रास्ट्रक्चर, हवाई खुफिया जानकारी के लिए उपयोग किए जाने वाले रडार और सेटेलाइट सिस्टम और तेहरान के पास सतह से हवा में मार करने वाला मिसाइल लॉन्चर था। आईडीएफ ने इन हमलों को ईरानी शासन की सैन्य क्षमताओं को कम करने और इजरायली नागरिकों की रक्षा के लिए हवाई श्रेष्ठता हासिल करने के निरंतर प्रयासों का हिस्सा बताया है।
ईरान-इजरायल के बीच 13 जून से संघर्ष जारी है, जिसमें अब अमेरिका भी कूद पड़ा है। अमेरिका ने भारतीय समय के अनुसार रविवार (22 जून) सुबह 4.30 बजे ईरान की तीन प्रमुख न्यूक्लियर साइट्स फोर्डो, नतांज और एस्फाहान पर अचानक हमला कर दिया। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि ईरान को अब संघर्ष खत्म होने के लिए सहमत होना चाहिए। इसके साथ उन्होंने चेतावनी दी है कि अगर ईरान ऐसा नहीं करता, तो उस पर और बड़े हमले किए जाएंगे।
इसके बाद संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने सुरक्षा परिषद के आपातकालीन विशेष सत्र को संबोधित करते हुए शांति की अपील की। गुटेरेस ने कहा, ‘हम शांति का प्रयास नहीं छोड़ सकते। हमें ऐसा करना भी नहीं चाहिए।’ इसके साथ ही एंटोनियो गुटेरेस ने जवाबी कार्रवाई और गहरे संघर्ष के खतरों को रोकने के लिए तत्काल प्रयास करने को भी कहा।
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गुटेरेस ने स्पष्ट तौर पर कहा है कि भविष्य में किसी भी तरह के उकसावे को रोकने के लिए कूटनीति को तरजीह दी जाएगी। लड़ाई रोकने और ईरान के न्यूक्लियर प्रोग्राम पर निरंतर बातचीत पर लौटने के लिए तत्काल और निर्णायक रूप से काम करना चाहिए।