अमित शाह ने अहमदाबाद में नए स्वास्थ्य केंद्र का किया उद्घाटन, स्वास्थ्य व्यवस्था होगी दुरुस्त
केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने रविवार को अहमदाबाद के गोटा वार्ड में लगभग 3.84 करोड़ रुपए की लागत से बने एक नवनिर्मित शहरी स्वास्थ्य केंद्र का उद्घाटन किया। यह केंद्र स्थानीय निवासियों के घर-द्वार पर सामान्य चिकित्सा ओपीडी सुविधाओं, आयुष्मान भारत पीएमजेएवाई कार्ड, आभा कार्ड, प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना, जननी सुरक्षा योजना और अन्य सरकारी स्वास्थ्य योजनाओं सहित स्वास्थ्य सेवाओं की एक विस्तृत श्रृंखला प्रदान करेगा। इस स्वास्थ्य केंद्र में गर्भवती और स्तनपान कराने वाली माताओं के लिए स्त्री रोग परामर्श, नवजात शिशुओं और बच्चों के लिए बाल चिकित्सा सेवाएं, टीकाकरण, प्रसूति देखभाल और रेफरल सेवाएं जैसी विशेष देखभाल भी उपलब्ध होंगी।
गांधीनगर में डायल 112 के अंतर्गत शुरू की जा रही जनरक्षक परियोजनाओं के उद्घाटन समारोह से लाइव...
ગાંધીનગર ખાતે ડાયલ 112 હેઠળ શરૂ થઈ રહેલા જનરક્ષક પ્રોજેક્ટ્સના ઉદ્ઘાટન સમારોહથી લાઈવ... https://t.co/YHrS6kcqP8
— Amit Shah (@AmitShah) August 31, 2025
आपातकालीन नंबर का शुभारंभ
इस सुविधा केंद्र की योजना झुग्गी-झोपड़ियों और गैर-झुग्गी-झोपड़ियों वाले इलाकों में ममता दिवस और मातृ-शिशु कल्याण कार्यक्रम चलाने, योग के माध्यम से स्वास्थ्य को बढ़ावा देने और विशेषज्ञ परामर्श के लिए टेली-मेडिसिन सेवाएं प्रदान करने की भी है। उद्घाटन समारोह में अहमदाबाद की महापौर प्रतिभा जैन, स्थायी समिति के अध्यक्ष देवांग दानी, सांसद नरहरि अमीन, नगर आयुक्त बंछानिधि पाणि और अन्य अधिकारी उपस्थित थे। गृह मंत्री ने गुजरात में राज्यव्यापी डायल 112 एकीकृत आपातकालीन प्रतिक्रिया सहायता प्रणाली (ईआरएसएस) का भी शुभारंभ किया। इससे सभी प्रमुख आपातकालीन सेवाएं जैसे पुलिस, अग्निशमन, एंबुलेंस, महिला हेल्पलाइन और बाल हेल्पलाइन एक ही हेल्पलाइन नंबर के अंतर्गत आ जाएंगी।
मोदी सरकार ‘वन नेशन, वन इमरजेंसी नंबर’ की संकल्पना को साकार कर रही है और हर एक राज्य को 112 नंबर से जोड़ रही है। इसी दिशा में आज गांधीनगर से गुजरातवासियों के लिए डायल 112 पहल की शुरुआत की। इस 112 नंबर से ही जनता पुलिस, एम्बुलेंस, फायर, वीमेन हेल्पलाइन, चाइल्ड हेल्पलाइन और… pic.twitter.com/BZj8rJN6xs
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राज्य में 500 जनरक्षक वाहन की तैनाती
इस पहल के तहत गृह मंत्री शाह ने 500 जनरक्षक वाहन भी समर्पित किए, जिन्हें राज्य भर में त्वरित आपातकालीन प्रतिक्रिया सुनिश्चित करने के लिए तैनात किया जाएगा। केंद्रीकृत कॉल सेंटर में 150 कर्मचारी 24 घंटे काम करेंगे और पुलिस स्टेशन के अधिकार क्षेत्र की परवाह किए बिना निकटतम जनरक्षक वाहन को भेजेंगे। अधिकारियों ने बताया कि सूरत में पायलट प्रोजेक्ट से सुधार देखने को मिले हैं। राज्य सरकार को उम्मीद है कि यह प्रणाली शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में आपातकालीन प्रबंधन को मजबूत करेगी और नागरिक सुरक्षा को बढ़ाएगी।