Bihar: बिहार सरकार ने औरंगाबाद, डिहरी और सासाराम में सोन नदी के पानी को पेयजल के लिए उपलब्ध करने का निर्णय लिया है। इन शहरों में लगातार जल स्तर घटने से पानी की कमी रहा है।
Highlights
- Bihar के सोन नदी से कई शहरों में मिलेगा पिने का पानी
- सीएम नीतीश कुमार की अध्यक्षता में हुई मंत्रिपरिषद की बैठक
- वर्ष 2051 तक ध्यान में रखकर जल आपूर्ति का प्रावधान किया गया
Bihar सरकार का पेयजल उपलब्ध कराने का निर्णय
बिहार(Bihar) सरकार ने औरंगाबाद, डिहरी और सासाराम में भूगर्भ जल के स्तर में गिरावट और इसके सुरक्षित भंडार में लगातार हो रही कमी से उत्पन्न पेयजल संकट को दूर करने के लिए इन शहरों के लोगों को सोन नदी(Son river) के सतही जल को शोधित कर पेयजल के रूप में उपलब्ध कराने का निर्णय लिया है। मंत्रिमंडल सचिवालय विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ एस सिद्धार्थ ने शुक्रवार को यहां संवाददाता सम्मेलन में बताया कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में हुई मंत्रिपरिषद की बैठक में इस आशय के प्रस्ताव को स्वीकृति दी गई है।
भूगर्भ जल स्तर में गिरावट से Bihar में सूखे और बाढ़ की समस्या बढ़ा
डॉ सिद्धार्थ ने बताया कि जलवायु परिवर्तन होने के कारण वर्षा के स्वरूप में बदलाव तथा भूगर्भ जल स्तर में गिरावट से बिहार में सूखे और बाढ़ की समस्या बढ़ा है। भूगर्भ जल में लगातार गिरावट और इसके सुरक्षित भंडार में कमी हो रही है, जिससे दक्षिण बिहार के कई क्षेत्रों में पेयजल का संकट उत्पन्न हुआ है। उन्होंने बताया कि औरंगाबाद, डिहरी और सासाराम शहरों में स्थानीय लोगों द्वारा भूगर्भ जल का उपयोग पेयजल के साथ-साथ औद्योगिक क्षेत्र, स्कूल, अस्पताल और अग्निशामक जैसी ज़रूरतों को पूरा करने के लिए किया जा रहा है। इससे इन शहरों के भूगर्भ जल स्तर में तेजी से गिरावट हो रही है।
जनसंख्या वृद्धि और औद्योगिक विकास के कारण जल स्तर दबाव पड़ने की आशंका
अपर मुख्य सचिव ने बताया कि केंद्रीय भूगर्भ जल बोर्ड के आंकड़ के अनुसार, दक्षिण बिहार के औरंगाबाद, डिहरी और सासाराम शहरों के भूगर्भ जल स्तर में पिछले वर्षों में लगातार कमी हुई है। भविष्य में जनसंख्या वृद्धि और औद्योगिक विकास के कारण इन शहरों के भूगर्भ जल पर अत्यधिक दबाव पड़ने की आशंका है। ऐसी परिस्थिति में नदियों में उपलब्ध सतही जल को परिष्कृत किए जाने के बाद पेयजल के लिए उपयोग किए जाने की व्यवस्था करना आवश्यक है।
वर्ष 2051 तक ध्यान में रखकर जल आपूर्ति का प्रावधान किया गया
डॉ सिद्धार्थ ने बताया कि इसके मद्देनजर औरंगाबाद, डिहरी और सासाराम शहरों में पेयजल की समस्या के साथ-साथ पर्यटन एवं धार्मिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण बिहार के इन शहरों की वर्ष 2051 की अनुमानित जनसंख्या की घरेलू जल की मांग प्रतिव्यक्ति 135 लीटर प्रतिदिन की दर से तथा राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय पर्यटक और श्रद्धालुओं एवं अग्निशमन के लिए जल की आवश्यकता के अनुरूप प्रत्येक दिन कुल 206 एमएलडी जल आपूर्ति और वितरण का प्रावधान किया गया है।