Top NewsIndiaWorldOther StatesBusiness
Sports | CricketOther Games
Bollywood KesariHoroscopeHealth & LifestyleViral NewsTech & AutoGadgetsvastu-tipsExplainer
Advertisement

सीरम इंस्टीट्यूट और बिल गेट्स को बॉम्बे हाई कोर्ट ने दिया नोटिस, कोरोना वैक्सीन से मौत का है मामला

बॉम्बे हाईकोर्ट ने शुक्रवार को एक याचिका पर सुनवाई करते हुए सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया और माइक्रोसॉफ्ट के संस्थापक बिल गेट्स को नोटिस जारी किया है। याचिका दिलीप लुनावत की ओर से दायर की गई है। जिन लोगों ने आरोप लगाया है कि उनकी बेटी की मौत कोरोना

04:22 AM Sep 03, 2022 IST | Desk Team

बॉम्बे हाईकोर्ट ने शुक्रवार को एक याचिका पर सुनवाई करते हुए सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया और माइक्रोसॉफ्ट के संस्थापक बिल गेट्स को नोटिस जारी किया है। याचिका दिलीप लुनावत की ओर से दायर की गई है। जिन लोगों ने आरोप लगाया है कि उनकी बेटी की मौत कोरोना

बॉम्बे हाईकोर्ट ने शुक्रवार को एक याचिका पर सुनवाई करते हुए सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया और माइक्रोसॉफ्ट के संस्थापक बिल गेट्स को नोटिस जारी किया है। याचिका दिलीप लुनावत की ओर से दायर की गई है। जिन लोगों ने आरोप लगाया है कि उनकी बेटी की मौत कोरोना वायरस वैक्सीन कोविशील्ड के साइड इफेक्ट से हुई है। उन्होंने अपने नुकसान के मुआवजे के तौर पर एक हजार करोड़ रुपये की मांग की है।
Advertisement
दरअसल, साल 2020 में सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने बिल एंड मेलिंगा गेट्स फाउंडेशन के साथ एक डील साइन की थी। इस सौदे के पीछे मुख्य कारण भारत और दुनिया के अन्य देशों के लिए कोविड-19 वैक्सीन की 10 करोड़ खुराक के निर्माण और वितरण में तेजी लाना था। याचिका में शामिल अन्य प्रतिवादियों में स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय, ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया, डॉ वीजी सोमानी, ड्रग कंट्रोलर जनरल और एम्स के निदेशक डॉ रणदीप गुलेरिया शामिल हैं।
सीनियर लेक्चरर थी बेटी 
औरंगाबाद के रहने वाले दिलीप लुनावत ने कोर्ट को बताया कि उनकी बेटी धमनगांव के एसएमबीटी डेंटल कॉलेज एंड हॉस्पिटल में डॉक्टर और सीनियर लेक्चरर थी। उन्होंने कहा कि संस्थान के सभी स्वास्थ्य कर्मियों को इसे लेने के लिए कहने के बाद उनकी बेटी को टीका लेने के लिए मजबूर किया गया था। जिसके बाद वैक्सीन के साइड इफेक्ट से उनकी मौत हो गई।
बेटी को किया गया आश्वस्त, टीके पूरी तरह सुरक्षित 
उन्होंने कहा कि उनकी बेटी को आश्वस्त किया गया था कि टीके पूरी तरह से सुरक्षित हैं और इससे उनके शरीर को कोई खतरा या दुष्प्रभाव नहीं होगा। याचिका में लूनावत ने कहा कि डॉ सोमानी और गुलेरिया ने कई इंटरव्यू दिए और लोगों को आश्वस्त किया कि टीके सुरक्षित हैं। दिलीप लूनावत ने कहा है कि वह अपनी बेटी को न्याय दिलाना चाहते हैं और कई और लोगों की जान बचाना चाहते हैं, जिनकी प्रतिवादी अधिकारियों की इस तरह की अवैध गतिविधियों के कारण मरने की संभावना है।
याचिका में लूनावत ने अपनी बेटी का 28 जनवरी 2021 का वैक्सीन सर्टिफिकेट भी अटैच किया है। याचिका में कहा गया है कि 1 मार्च 2021 को कोविशील्ड वैक्सीन के साइड इफेक्ट से उनकी मौत हो गई। लूनावत ने अपने दावे को और मजबूत करने के लिए 2 अक्टूबर, 2021 की केंद्र सरकार की पोस्ट-वैक्सीनेशन इवेंट्स (AEFI) रिपोर्ट को भी शामिल किया है।
Advertisement
Next Article