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Brain Eating Amoeba: केरल में 'ब्रेन ईटिंग अमीबा' के मामले बढ़ें, 18 लोगों की गई जान, जानें लक्षण और बचाव के तरीके

02:49 PM Sep 17, 2025 IST | Khushi Srivastava
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Brain Eating Amoeba
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Brain Eating Amoeba: केरल में इन दिनों 'अमीबिक मेनिंगोएन्सेफलाइटिस' नाम की एक दिमागी बीमारी को लेकर लोगों में डर बना हुआ है। इसे आसान भाषा में 'ब्रेन ईटिंग अमीबा' का नाम दिया गया है। तिरुवनंतपुरम के 17 साल के एक किशोर की इस बीमारी से मौत हो चुकी है। राज्य के स्वास्थ्य विभाग के अनुसार Brain Eating Amoeba में अब तक 67 लोग इस संक्रमण की चपेट आ चुके हैं, जिनमें से 18 की जान जा चुकी है।

इसे देखते हुए राष्ट्रीय रोग नियंत्रण केंद्र (NCDC) ने निगरानी और तेज कर दी है। दिल्ली-एनसीआर के अस्पतालों और मेडिकल कॉलेजों को भी सतर्क रहने के निर्देश दिए गए हैं। आइए जानें यह बीमारी क्या है, यह कैसे मस्तिष्क पर हमला करती है, और संक्रमित लोगों में इसके क्या लक्षण नजर आते हैं।

Brain Eating Amoeba Symptoms: ब्रेन ईटिंग अमीबा के लक्षण

Brain Eating Amoeba
Brain Eating Amoeba

चिकित्सकों के अनुसार, यह बीमारी बेहद तेजी से बढ़ती है और इसके शुरुआती लक्षणों को पहचानना मुश्किल होता है लेकिन अगर नीचे दिए गए संकेत दिखें, तो तुरंत सतर्क हो जाना चाहिए:

  • तेज सिरदर्द
  • बुखार और उल्टी/मतली
  • गर्दन में जकड़न
  • मानसिक भ्रम या उलझन
  • दौरे पड़ना (सीजर्स)

क्या ब्रेन ईटिंग अमीबा का इलाज संभव है?

इस बीमारी को मेडिकल भाषा में 'प्राइमरी अमीबिक मेनिंगोएन्सेफलाइटिस (PAM)' कहा जाता है, जिसका इलाज बेहद कठिन होता है। इसी वजह से अब तक अधिकतर मामलों में मरीज की जान चली गई है। इसका एक कारण यह है कि एक बार अमीबा दिमाग में पहुंच जाए तो वह बहुत तेजी से फैलता है और ज़्यादातर दवाएं उस तक सही तरीके से नहीं पहुंच पातीं। जिस वजह से अधिकतर मामलों में डॉक्टरों द्वारा किया गया इलाज भी बेअसर साबित होता है।

Brain Eating Amoeba Prevention: कैसे करें बचाव?

Brain Eating Amoeba
Brain Eating Amoeba
  • नदियों, तालाबों या झीलों में नहाने से बचें।
  • यदि तैरते हैं तो उस समय नाक में पानी न जाने दें।
  • हमेशा क्लोरीनयुक्त और स्वच्छ स्विमिंग पूल में ही तैराकी करें, गंदे या बिना क्लोरीन वाले तालाबों से बचें।
  • पीने के लिए साफ पानी का इस्तेमाल करें और व्यक्तिगत सफाई बनाए रखें।

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