सौ करोड़ रुपये के विज्ञापन घोटाले में पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे के अधिकारियों पर CBI का शिकंजा
केंद्रीय जांच एजेंसी सीबीआई ने पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे के एक वरिष्ठ जनसंपर्क अधिकारी और कुछ अन्य कर्मियों के खिलाफ अखबारों में निविदा-प्रकाशन के लिए फर्जी बिलों के आधार पर भुगतान कर संगठन के साथ 100 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के आरोप में मामला दर्ज किया है।
02:54 PM Jul 12, 2019 IST | Shera Rajput
Advertisement
केंद्रीय जांच एजेंसी सीबीआई ने पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे के एक वरिष्ठ जनसंपर्क अधिकारी और कुछ अन्य कर्मियों के खिलाफ अखबारों में निविदा-प्रकाशन के लिए फर्जी बिलों के आधार पर भुगतान कर संगठन के साथ 100 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के आरोप में मामला दर्ज किया है।
Advertisement
अधिकारियों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। इन अधिकारियों पर आरोप है कि उन्होंने ऐसे अखबारों के नाम से बिल का भुगतान किया जिनका प्रसार ही नहीं होता था।
Advertisement
अधिकारियों ने बताया कि सीबीआई ने इस संबंध में वरिष्ठ जनसंपर्क अधिकारी दिलीप चंद्र बोरा, कार्यालय अधीक्षक हर्धन डे और बाबुल चंद्र मेधी , मुख्य प्रचार निरीक्षक एमएमवाई आलम , लेखा सहायक हितेश डेका और वरिष्ठ रोकड़िया प्रबीर दास पुरकायस्थ को नामजद किया है।
यह कथित घोटाला 2014-18 के बीच का बताया जा रहा है। आरोप है कि उपरोक्त अधिकारियों ने पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे के साथ धोखाधड़ी की साजिश की। इसके तहत निविदाएं आमंत्रित करने की सूचनाओं (एनआईटी) के प्रकाशन के संबंध में फर्जी बिलों के माध्यम से विभिन्न अखबारों को भारी धनराशि का भुगतान किया गया।
जांच एजेंसी के अनुसार उपरोक्त अवधि में कुल 5,842 बिल जमा किए गए थे और उन पर इन अधिकारियों ने 157.40 करोड़ रुपये का भुगतान किया।
अधिकारियों के अनुसार अपने पद का दुरुपयोग कर रेलवे के इन अधिकारियों ने अपने विभाग का 100 करोड़ रुपये का नुकसान किया और उसका एक हिस्सा उनकी जेब में गया।
इन पर यह भी अरोप है कि रेलवे में ऐसे विज्ञापनों के लिए अखबारों में 60 वर्ग सेंटीमीटर जगह की बुकिंग की जाती है। पर इन अधिकारियों ने उसके डेढ से 10 गुने स्थान के लिए बुकिंग की।
आरोप है कि एक ही नोटिस के विज्ञापन के लिए ऐसे कुछ अखबारों को कई बार भुगतान किए गए जिनका प्रसार ही नहीं होता था या जिनके पाठकों की संख्या बहुत कम है।
Advertisement