CM Kejriwal को जमानत मिलने से इंडिया गठबंधन मजबूत होगा: Manoj Pandey
CM Kejriwal: दिल्ली शराब घोटाला केस में अरविंद केजरीवाल को जमानत मिल गई. सुप्रीम कोर्ट ने सीबीआई केस में जमानत दे दी. केजरीवाल कुछ देर में जेल से बाहर आएंगे। जमानत के साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने कुछ शर्तें भी रखी है।
Highlights
- अरविंद केजरीवाल को मिली जमानत
- 'CM Kejriwal के जमानत से इंडिया गठबंधन होगा मजबूत'
- सुप्रीम कोर्ट का जमानत के साथ शर्त
सुप्रीम कोर्ट ने CM Kejriwal को दी जमानत
सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल(CM Kejriwal) को सशर्त जमानत दे दी है। कोर्ट ने ये जमानत कथित शराब नीति से जुड़ी सीबीआई की एफआईआर मामले में दी है। झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के प्रवक्ता मनोज पांडेय ने कहा कि जमानत तो मिलनी ही थी। बेबुनियाद आरोप में कितने दिन जेल में रखेंगे। हेमंत सोरेन को 5 महीने तक जेल में रखा गया। वह पांच महीने कौन लौटाएगा।अरविंद केजरीवाल को जमानत पहले ही मिल जानी चाहिए थी। लेकिन, देर से ही सही जमानत मिल गई है।
सुप्रीम कोर्ट का जमानत के साथ शर्त
मनोज पांडेय( Manoj Pandey) ने कहा, अरविंद केजरीवाल के बाहर आने से निश्चित ही इंडिया गठबंधन मजबूत होगा। अरविंद केजरीवाल उन चंद नेताओं में से हैं जो सांप्रदायिक ताकतों के खिलाफ खड़े हैं। सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत देने के दौरान सख्त शर्त रखी है। वह मुख्यमंत्री ऑफिस नहीं जा सकते हैं। किसी फाइल पर साइन नहीं कर सकते हैं। केस से संबंधित कोई टिप्पणी नहीं कर सकते हैं। केस से जुड़े गवाहों को प्रभावित नहीं कर सकते हैं।
कोर्ट के दिशा-निर्देश को पालन करना चाहिए- मनोज पांडेय
मनोज पांडेय( Manoj Pandey) ने कहा, कोर्ट ने जो भी दिशा-निर्देश उन्हें दिए हैं, उनका उन्हें पालन करना चाहिए। मुझे लगता है कि वह कोर्ट के निर्देश का पालन करेंगे।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के इस्तीफे देने वाले बयान पर उन्होंने कहा, मैं समझता हूं कि यह उनका निजी विचार है। लेकिन, जो घटना पश्चिम बंगाल में हुई है, उसने पूरे देश को हिला कर रख दिया है। सभी लोग इससे बहुत आहात हैं।
बंगाल सरकार भी आवश्यक कदम भी उठाए है- मनोज पांडेय
मनोज पांडेय ने आगे कहा कि मुख्यमंत्री का प्रयास है कि दोबारा इस तरह की घटना प्रदेश में न हो। इसके लिए उन्होंने आवश्यक कदम भी उठाए हैं। आरोपियों को फांसी की सजा दिलाने के लिए कानून बनाकर आगे भेजा गया। मैं मानता हूं कि उनकी ईमानदार कोशिश है और इसके पीछे जो कुछ राजनीतिक दल हैं, जो राजनीति कर रहे हैं, उससे अफसोस होता है। दूसरे राज्यों में भी वीभत्स घटनाएं होती हैं। मध्य प्रदेश में दो महिलाओं के साथ जघन्य अपराध हुआ है। उज्जैन में घटनाएं सामने आईं। ऐसी घटनाओं पर राजनीति नहीं होनी चाहिए। बल्कि, प्रयास होना चाहिए कि इस तरह की घटना दोबारा न हो। कड़े से कड़े कानून बनाने की जरूरत है।
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