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परीक्षा पे चर्चा: विशेषज्ञों ने बताए तनावमुक्त रहने के उपाय और सही खानपान

परीक्षा पे चर्चा का चौथा एपिसोड सुबह 10 बजे प्रसारित किया गया

06:20 AM Feb 14, 2025 IST | IANS

परीक्षा पे चर्चा का चौथा एपिसोड सुबह 10 बजे प्रसारित किया गया

परीक्षा पे चर्चा  विशेषज्ञों ने बताए तनावमुक्त रहने के उपाय और सही खानपान

‘परीक्षा पे चर्चा’ का चौथा एपिसोड शुक्रवार को सुबह 10 बजे प्रसारित किया गया। इस कार्यक्रम में प्रसिद्ध शेफ शोनाली सबरवाल, न्‍यूट्रिशनिस्‍ट रुजुता दिवेकर और हेल्‍थ इंफ्लुएंसर रेवंत हिमातसिंका शामिल हुए। इन सभी विशेषज्ञों ने बताया कि कैसे छात्र परीक्षा के दौरान अपने स्वास्थ्य का विशेष ध्यान रखकर खुद को तनावमुक्त रख सकते हैं। कार्यक्रम में शामिल शोनाली ने कहा कि अगर आप कॉफी पी रहे हैं, तो उसकी जगह ग्रीन टी लेना शुरू कर दें। अगर आपको रिलैक्स करना है, तो बीटरूट जूस का सेवन करें।

पढ़ाई के दौरान ब्रेन को क्रंच पसंद आता है। इसी कारण हम चिप्स खाते हैं। लेकिन आप घर पर शकरकंदी के चिप्स बना सकते हैं। शुगर क्रेविंग के लिए डार्क चॉकलेट खाएं, लेकिन सीमित मात्रा में। रेवंत ने छात्रों को सुझाव दिया कि अगर आप पैकिंग पर दिए गए लेबल को ध्यान से पढ़ने लगेंगे, तो आपको यह आसानी से समझ में आ जाएगा कि क्या खाना सही है, क्या नहीं। अगर आपको जंक फूड का मन कर रहा है, तो सुबह के समय ताजे हरे पत्तेदार सब्जियां खाएं। इसके अलावा लंच, ब्रेकफास्ट या डिनर के बीच में नट्स का सेवन करें और सुबह-सुबह ताजे फल खाएं। शोनाली ने बताया कि अगर तनाव के कारण कब्ज की समस्या हो रही है, तो आप केले और दही-चीनी का सेवन कर सकते हैं।

इसके साथ ही पाचन तंत्र को मजबूत बनाने के लिए आप शारीरिक गतिविधियों पर ध्यान दें, जो कि बेहद जरूरी है। सिर्फ एक जगह बैठकर पढ़ाई न करें। अगर आप आधे घंटे के लिए भी खेलकूद करेंगे, तो आपका पोस्चर सही रहेगा। उन्होंने आगे बताया कि आयु, वायु और पैर की एक्सरसाइज से शरीर स्वस्थ रहता है। यानी थोड़ा वॉक करने से आपकी सेहत बेहतर होती है और जीवन में खुशी भी आती है। वहीं, कार्यक्रम में शामिल हुईं रुजुता ने बताया कि जैसे एग्जाम में अलग-अलग सब्जेक्ट होते हैं, वैसे ही आपके खाने में भी विविधता होनी चाहिए। एनर्जी ड्रिंक से तनाव बढ़ता है, इसलिए आप इसकी जगह केला खा सकते हैं।

न्यूट्रिशन एक्सपर्ट शोनाली ने छात्रों को बताया कि पहले जो भी हम खाते थे, वह सभी सही था, लेकिन आजकल खाने से पहले हमें सोचने की आवश्यकता पड़ती है। वहीं, रेवंत ने कहा कि जब उन्हें स्ट्रेस होता था, तब वह मीठा खाते थे।

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