
केंद्र के नए तीन कृषि कानूनों को वापस लिए जाने की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे हजारों किसान नौंवे दिन भी राष्ट्रीय राजधानी से लगी सीमाओं पर डटे हुए हैं। किसान आंदोलन को लेकर कांग्रेस लगातार केंद्र की मोदी सरकार पर हमला कर रही है। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने केंद्र सरकार से इन कानूनों रद्द करने और उनके साथ हुए दुर्व्यवहार के लिए माफी मांगने को कहा।
उन्होंने इस संबंध में सिलसिलेवार ट्वीट करते हुए मोदी सरकार पर हमला किया। उन्होंने लिखा, 'केंद्र सरकार को अविलंब तीनों नए कृषि कानूनों को वापस लेना चाहिए और अन्नदाता के साथ किए गए दुर्व्यवहार के लिए माफी मांगनी चाहिए।'
मुख्यमंत्री के अनुसार, 'केंद्र सरकार ने राज्य सरकारों, किसान सगंठनों, कृषि विशेषज्ञों से बिना चर्चा किए तीनों कृषि विधेयक बनाये, और इन विधेयकों को संसद में भी आनन-फानन में बिना चर्चा किए बहुमत के दम पर असंवैधानिक तरीके से पास कराया जबकि विपक्ष इन्हें प्रवर समिति को भेजकर चर्चा की मांग कर रहा था।'
उन्होंने कहा है कि केंद्र सरकार ने इन विधेयकों पर किसी से कोई चर्चा नहीं की जिसके चलते आज पूरे देश के किसान सड़कों पर हैं। विधेयकों का विरोध कर रहे मुख्यमंत्रियों को राष्ट्रपति से मिलने का समय नहीं मिला। कांग्रेस नेता ने कहा कि किसानों की बात केंद्र सरकार ने नहीं सुनी जिसके कारण आज किसान पूरे देश में आंदोलन कर रहे हैं। गहलोत ने कहा, 'लोकतंत्र के अंदर संवाद सरकार के साथ इस प्रकार कायम रहते तो यह चक्का जाम के हालात नहीं बनते एवं आम जन को तकलीफ का सामना नहीं करना पड़ता।'केंद्र सरकार ने राज्य सरकारों,किसान सगंठनों,कृषि विशेषज्ञों से बिना चर्चा किये तीनों कृषि बिल बनाये। इन तीनों बिलों को संसद में भी आनन-फानन में बिना चर्चा किये बहुमत के दम पर असंवैधानिक तरीके से पास कराया। जबकि विपक्ष इन बिलों को सेलेक्ट कमेटी को भेजकर चर्चा की मांग कर रहा था।
— Ashok Gehlot (@ashokgehlot51) December 4, 2020
1/