Lok Sabha में पास हुआ Finance Bill 2025, घरेलू उत्पादन को बढ़ावा
Finance Bill 2025 में करदाताओं को राहत, घरेलू मैन्युफैक्चरिंग पर जोर
लोकसभा में मंगलवार को फाइनेंस बिल 2025 पास हो गया। इसमें 35 सरकारी संशोधन शामिल हैं। केंद्रीय बजट 2025-26 के प्रस्तावों को लागू करने के लिए यह एक अहम प्रक्रिया है। फाइनेंस बिल 2025 पर हुई डिबेट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि केंद्रीय बजट 2025-26 में करदाताओं को बड़ी राहत दी गई है। इसका उद्देश्य घरेलू स्तर पर उत्पादन बढ़ाना और निर्यात प्रतिस्पर्धात्मकता को बढ़ाना है। वित्त मंत्री ने फाइनेंस बिल पर चर्चा के दौरान टैरिफ को युक्तिसंगत बनाने और घरेलू मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देने के उद्देश्य से किए गए परिवर्तनों पर प्रकाश डाला।
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वित्त मंत्री सीतारमण ने कहा कि 2025-26 के बजट प्रस्तावों से घोषित सीमा शुल्क के युक्तिकरण की कार्यवाही आगे बढ़ रही है। घरेलू उत्पादन को बढ़ाने के लिए, सरकार ने ईवी बैटरी के लिए 35 अतिरिक्त कैपिटल गुड्स और मोबाइल मैन्युफैक्चरिंग के लिए 28 वस्तुओं को सीमा शुल्क से छूट दी है। अब बजट को लोकसभा ने मंजूरी दे दी है, इसे राज्य सभा में चर्चा के लिए रखा जाएगा। हालांकि,उच्च सदन के पास बजट पर मतदान करने का अधिकार नहीं है और वह किसी भी प्रस्ताव को अस्वीकार नहीं कर सकता है।
इसके अलावा, वित्त मंत्री ने कहा कि नया इनकम टैक्स बिल संसद के अगले सत्र यानी मानसून सत्र में पेश किया जाएगा और यह इनकम टैक्स एक्ट 1961 की जगह लेगा। वित्त मंत्री ने आगे कहा कि आम बजट में वित्त वर्ष 2025-26 में राजकोषीय घाटे का लक्ष्य 4.4 प्रतिशत रखा गया है, जो कि वित्त वर्ष 2024-25 में 4.8 प्रतिशत था।
केंद्रीय बजट 2025-26 में खपत को बढ़ाने के लिए इनकम टैक्स छूट को बढ़ाकर 12 लाख रुपये प्रति वर्ष कर दिया गया है। इससे आम आदमी के हाथ में पहले के मुकाबले अधिक पैसे बचेंगे। बजट में शुद्ध बाजार उधारी 11.54 लाख करोड़ रुपये निर्धारित की गई है। बाकी का फंड स्मॉल सेविंग्स स्कीम से आएगा।
बजट में 42.70 लाख करोड़ रुपये का सकल कर राजस्व संग्रह और 14.01 लाख करोड़ रुपये का सकल उधार प्रस्तावित है। केंद्रीय बजट 2025-26 में कुल व्यय 50.65 लाख करोड़ रुपये रहने का अनुमान है, जो चालू वित्त वर्ष की तुलना में 7.4 प्रतिशत अधिक है।