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'कपड़े, जूते और टीवी...', 5% और 18% टैक्स लागू होने से सस्ती हो सकती हैं ये चीजें

07:38 PM Sep 03, 2025 IST | Amit Kumar
 कपड़े  जूते और टीवी      5  और 18  टैक्स लागू होने से सस्ती हो सकती हैं ये चीजें
GST Council Meeting

GST Council Meeting: जीएसटी (वस्तु एवं सेवा कर) काउंसिल की अहम आज से बैठक शुरू हो चुकी है, जिसमें टैक्स स्लैब को लेकर बड़ा निर्णय लिया जा सकता है। सरकार की ओर से एक प्रस्ताव रखा गया है, जिसमें मौजूदा चार टैक्स स्लैब को घटाकर केवल दो स्लैब करने की बात कही गई है। अगर इस प्रस्ताव को मंजूरी मिलती है, तो कई वस्तुओं के दाम में कमी आ सकती है।

GST Council Meeting: 15 अगस्त को पीएम मोदी ने किया था बड़ा ऐलान

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 15 अगस्त को लाल किले से अपने संबोधन में जीएसटी में बड़े सुधार की घोषणा की थी। उन्होंने कहा था कि यह सुधार आम जनता के लिए फायदेमंद साबित होगा। इसी के बाद वित्त मंत्रालय ने टैक्स स्लैब में बदलाव का प्रस्ताव काउंसिल के सामने रखा था। अब पहली बार इस प्रस्ताव पर चर्चा के लिए बैठक हो रही है और उम्मीद की जा रही है कि इस पर मुहर लग सकती है। अगर फैसला होता है तो यह नया सिस्टम दिवाली से लागू हो सकता है।

GST Council Meeting
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GST Slab News: अभी के जीएसटी स्लैब

वर्तमान में जीएसटी के चार टैक्स स्लैब हैं:

  • 5%
  • 12%
  • 18%
  • 28%

सरकार का प्रस्ताव है कि इसे घटाकर केवल दो स्लैब कर दिया जाए:

  • 5%
  • 18%

GST Council Meeting News: इन प्रोडक्ट्स के सस्ते होने की उम्मीद

अगर जीएसटी स्लैब में बदलाव होता है, तो 12% और 28% टैक्स वाले उत्पादों को 18% या 5% में शामिल किया जा सकता है। इससे इन चीजों के दाम घट सकते हैं:

  • घी, मक्खन, पनीर, चीज
  • पैकेज्ड फ्रोजन सब्जियां, बिस्कुट, नमकीन
  • फ्रूट जूस (नॉन-कार्बोनेटेड)
  • छाते, कपड़े और जूते
  • सोलर वॉटर हीटर
  • कृषि से जुड़े उपकरण
  • एयर कंडीशनर, टीवी
  • सीमेंट, टाइल्स, पेंट
  • कार और एसयूवी
GST Council Meeting
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बीमा प्रीमियम पर भी राहत का प्रस्ताव

सरकार की ओर से यह भी प्रस्ताव दिया गया है कि हेल्थ और लाइफ इंश्योरेंस प्रीमियम पर जीएसटी पूरी तरह से हटा दी जाए। यानी इन सेवाओं को 0% टैक्स स्लैब में डाला जा सकता है। इससे लोगों को बीमा पॉलिसी खरीदने में बड़ी राहत मिलेगी। हालांकि इससे सरकार को करीब 9,700 करोड़ रुपये के सालाना राजस्व नुकसान का अनुमान है।

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Amit Kumar

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