Top NewsIndiaWorldOther StatesBusiness
Sports | CricketOther Games
Bollywood KesariHoroscopeHealth & LifestyleViral NewsTech & AutoGadgetsvastu-tipsExplainer
Advertisement

IIT MADRAS ने सेप्टिक टैंक की सफाई के लिए तैयार किया रोबोट

आईआईटी मद्रास ने सेप्टिक टैंक को साफ करने के लिए रोबोट विकसित किया। भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) मद्रास के अनुसंधानकर्ताओं ने मानव हस्तक्षेप के बिना सेप्टिक टैंक को साफ करने के लिए एक रोबोट विकसित किया है।अधिकारियों ने कहा कि “होमोसेप” नाम की दस इकाइयों को पूरे तमिलनाडु में तैनात करने की योजना है और अनुसंधानकर्ता स्थानों की पहचान करने के लिए स्वच्छता कर्मियों के संपर्क में हैं

07:17 PM Jun 09, 2022 IST | Desk Team

आईआईटी मद्रास ने सेप्टिक टैंक को साफ करने के लिए रोबोट विकसित किया। भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) मद्रास के अनुसंधानकर्ताओं ने मानव हस्तक्षेप के बिना सेप्टिक टैंक को साफ करने के लिए एक रोबोट विकसित किया है।अधिकारियों ने कहा कि “होमोसेप” नाम की दस इकाइयों को पूरे तमिलनाडु में तैनात करने की योजना है और अनुसंधानकर्ता स्थानों की पहचान करने के लिए स्वच्छता कर्मियों के संपर्क में हैं

आईआईटी मद्रास ने सेप्टिक टैंक को साफ करने के लिए रोबोट विकसित किया। भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) मद्रास के अनुसंधानकर्ताओं ने मानव हस्तक्षेप के बिना सेप्टिक टैंक को साफ करने के लिए एक रोबोट विकसित किया है।अधिकारियों ने कहा कि “होमोसेप” नाम की दस इकाइयों को पूरे तमिलनाडु में तैनात करने की योजना है और अनुसंधानकर्ता स्थानों की पहचान करने के लिए स्वच्छता कर्मियों के संपर्क में हैं।उन्होंने कहा कि गुजरात और महाराष्ट्र में अगले चरण में रोबोट की तैनाती के लिए विचार किया जा रहा है।वर्तमान में, गैर सरकारी संगठन सफाई कर्मचारी आंदोलन (एसकेए) की मदद से पहली दो होमोसेप इकाइयों को नागम्मा और रूथ मैरी के नेतृत्व में स्वयं सहायता समूहों को वितरित किया गया है, जिनके पतियों की सफाई कार्य के दौरान दुखद मृत्यु हो गई थी।
Advertisement
 सेप्टिक टैंकों में सफाई करने की वजह से हर साल कई लोगों को गवानी पड़ती है जान ,
 आईआईटी मद्रास के यांत्रिक अभियांत्रिकी विभाग के प्रोफेसर प्रभु राजगोपाल ने कहा, सेप्टिक टैंक में एक जहरीला वातावरण होता है, जो अर्ध-ठोस और अर्ध-तरल मानव मल सामग्री से भरा होता है।उन्होंने कहा, प्रतिबंधों और निषेधाज्ञा के बावजूद सेप्टिक टैंकों में मनुष्यों के सफाई करने के कारण पूरे भारत में हर साल सैकड़ों मौत होती हैं।राजगोपाल ने कहा कि होमोसेप इकाई से इस तरह की घटनाओं को रोकने में मदद मिलेगी जिसका इस्तेमाल सफाई कर्मचारी उचित प्रशिक्षण के बाद खुद कर सकते हैं।
Advertisement
Next Article