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भारत, चीन ने पूर्वी लद्दाख में शेष मुद्दों के समाधान को लेकर गहन चर्चा की

भारत और चीन ने पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर शेष मुद्दों के समाधान को लेकर शुक्रवार को गहन चर्चा की और कहा कि पैंगोंग झील के उत्तरी व दक्षिणी किनारे से सैनिकों को पीछे हटाने के कदम ने बाकी बचे मुद्दों के जल्द समाधान की दिशा में काम करने का अच्छा आधार प्रदान किया है ।

11:57 PM Mar 12, 2021 IST | Shera Rajput

भारत और चीन ने पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर शेष मुद्दों के समाधान को लेकर शुक्रवार को गहन चर्चा की और कहा कि पैंगोंग झील के उत्तरी व दक्षिणी किनारे से सैनिकों को पीछे हटाने के कदम ने बाकी बचे मुद्दों के जल्द समाधान की दिशा में काम करने का अच्छा आधार प्रदान किया है ।

भारत  चीन ने पूर्वी लद्दाख में शेष मुद्दों के समाधान को लेकर गहन चर्चा की
भारत और चीन ने पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर शेष मुद्दों के समाधान को लेकर शुक्रवार को गहन चर्चा की और कहा कि पैंगोंग झील के उत्तरी व दक्षिणी किनारे से सैनिकों को पीछे हटाने के कदम ने बाकी बचे मुद्दों के जल्द समाधान की दिशा में काम करने का अच्छा आधार प्रदान किया है । 
विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि दोनों देशों ने डिजिटल बातचीत के दौरान इस बात पर सहमति व्यक्त की कि अंतरिम रूप से उन्हें जमीनी स्तर पर स्थिरता बनाए रखनी चाहिए और किसी भी अप्रिय घटना से बचना चाहिए। 
वहीं, चीनी विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि दोनों पक्ष सीमावर्ती क्षेत्रों में Òकड़ी मेहनतÓ से बनी शांति को संयुक्त रूप से कायम रखने पर सहमत हुए। 
दोनों बयानों में कहा गया है कि दोनों पक्ष राजनयिक और सैन्य माध्यम से संवाद और गहन बातचीत को कायम रखने पर सहमत हुए तथा 11 वें दौर की सैन्य वार्ता जल्द से जल्द आयोजित करने पर सहमति जतायी। 
विदेश मंत्रालय के बयान के अनुसार दोनों पक्षों ने इस बात पर सहमति व्यक्त की कि दोनों देशों को गतिरोध वाले सभी स्थानों से जल्द से जल्द सैनिकों की पूर्ण वापसी के लिए परस्पर स्वीकार्य समाधान पर पहुंचने के लिए वार्ता जारी रखनी चाहिए 
इसमें कहा गया है, ‘‘ इससे दोनों पक्षों को क्षेत्र में व्यापक रूप से सैनिकों को पीछे हटाने और सीमावर्ती क्षेत्रों में शांति बहाली करने में मदद मिलेगी।’’ 
भारत हॉट स्प्रिंग, गोगरा और देपसांग में तेजी से सैनिकों की वापसी पर जोर दे रहा है । 
यह वार्ता भारत-चीन सीमा मामलों पर विचार-विमर्श और समन्वय संबंधी कार्यकारी तंत्र के तहत हुयी। 
विदेश मंत्रालय के बयान के अनुसार, दोनों पक्षों ने इस बात पर भी सहमति व्यक्त की कि पिछले वर्ष सितंबर में मास्को में दोनों देशों के विदेश मंत्रियों के बीच बनी सहमति और पिछले महीने टेलीफोन पर हुई चर्चा के अनुरूप दोनों पक्षों को काम करना जारी रखना चाहिए । 
बयान के अनुसार, दोनों पक्षों ने पश्चिमी सेक्टर में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर स्थिति की समीक्षा की और इस सेक्टर में वास्तविक नियंत्रण रेखा पर शेष मुद्दों के समाधान को लेकर गहराई से चर्चा की । 
दोनों देशों ने इस बात पर सहमति व्यक्त की कि पैंगोंग झील के उत्तरी, दक्षिणी किनारे से सैनिकों को पीछे हटाने से शेष मुद्दों के जल्द समाधान की दिशा में कार्य करने के लिये दोनों पक्षों के लिये अच्छा आधार प्रदान किया है।
चीनी विदेश मंत्रालय और दिल्ली में चीनी दूतावास द्वारा जारी की गई प्रेस विज्ञप्ति के अंग्रेजी संस्करण में कहा गया है कि दोनों पक्षों ने चीन-भारत सीमा क्षेत्रों में अन्य मुद्दों के समाधान को बढ़ावा देने के संबंध में गहन विचार-विमर्श किया। 
भारतीय शिष्टमंडल का नेतृत्व विदेश मंत्रालय में अतिरिक्त सचिव (पूर्वी एशिया) नवीन श्रीवास्तव ने किया, वहीं चीनी पक्ष का नेतृत्व चीन के विदेश मंत्रालय के सीमा एवं समुद्री विभाग के महानिदेशक हांग लियांग ने किया। 
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Shera Rajput

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