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वायनाड भूस्खलन में मरने वालों की संख्या 290 के पार, 206 अभी भी लापता

12:29 PM Aug 02, 2024 IST
वायनाड भूस्खलन में मरने वालों की संख्या 290 के पार  206 अभी भी लापता

वायनाड भूस्खलन : शुक्रवार को भूस्खलन में मरने वालों की संख्या बढ़कर 297 हो गई है। अधिकारियों ने बताया कि 206 लोग अभी भी लापता हैं। केरल की अब तक की सबसे भीषण प्राकृतिक आपदा के चौथे दिन भी बचाव अभियान जारी रहा। विभिन्न बलों के अलावा स्थानीय लोगों से ली गई एक हजार से अधिक सदस्यीय बचाव टीम को नौ समूहों में बांटा गया है, जो लोगों की मदद करने और लापता लोगों की तलाश के लिए प्रयास कर रही है।

Highlight : 

  • भूस्खलन में मरने वालों की संख्या 290 हुई
  • अभी भी 206 लोग लापता हैं
  • आपदा के चौथे दिन भी बचाव अभियान जारी है

भूस्खलन से तबाह हुआ वायनाड

भूस्खलन से सबसे अधिक प्रभावित चूरलमाला, वेल्लारीमाला, मुंडकाईल और पुंचिरीमाडोम क्षेत्र हैं। अब 190 फुट ऊंचे बेली ब्रिज के निर्माण के साथ, चूराल्माला और मुंडकाईल के बीच संपर्क बहाल हो गया है। स्निफर कुत्तों को भी कार्य पर लगाया गया है। बचाव दल भारी मिट्टी हटाने वाले उपकरणों से भी लैस है। अभियान का नेतृत्व कर रहे एक अधिकारी ने बताया कि प्रभावित स्थानों में से एक स्थान पर कुछ घर दबे हुए हैं, जहां वे जा रहे हैं।

वर्तमान में 91 राहत शिविरों में 9,328 लोगों को सुरक्षित पहुंचाया

अधिकारी ने कहा, जिस स्थान पर हम जल्द ही पहुंच रहे हैं, वहां करीब 10 घर हैं और हमें जो बताया जा रहा है उसके अनुसार वहां कुछ लोग हो सकते हैं, शायद जीवित हों। वर्तमान में 91 राहत शिविरों में 9,328 लोगों को सुरक्षित पहुंचाया गया है। बता दें कि टेलीकॉम कंपनियों ने भूस्खलन से प्रभावित केरल के वायनाड में टेलीकॉम सेवाओं को फिर से शुरू कर दिया है। इससे लोगों को कनेक्टिविटी के साथ-साथ रेस्क्यू टीम को भी कम्युनिकेशन करने में आसानी होगी।

टेलीकॉम कंपनियों ने वायनाड में फिर से शुरू की सेवाएं

सरकार की ओर से यह जानकारी दी गई है। संचार मंत्रालय ने कहा कि कंट्रोल रूम, रिलीफ डिस्ट्रीब्यूशन सेंटर और इमरजेंसी रिस्पांस टीम को वायनाड के लोगों के सहायता के लिए लगाया गया है। भारत संचार निगम लिमिटेड ने वायनाड जिले के भूस्खलन प्रभावित इलाकों चूरलमाला और मुंडक्कई में 4 जी सेवाएं शुरू की हैं। केंद्र की ओर से कहा गया है कि बिजली न होने की स्थिति में टावर को चालू रखने के लिए डीजल इंजन उपलब्ध कराए गए हैं। जिला प्रशासन को तेज इंटरनेट कनेक्शन और स्वास्थ्य विभाग को टोल-फ्री नंबर दिए गए हैं।

(Input From IANS)

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Saumya Singh

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