Top NewsIndiaWorldOther StatesBusiness
Sports | CricketOther Games
Bollywood KesariHoroscopeHealth & LifestyleViral NewsTech & AutoGadgetsvastu-tipsExplainer
Advertisement

पायलट परियोजनाएं शुरू करने के निर्देश

NULL

11:26 AM Aug 23, 2017 IST | Desk Team

NULL

चंडीगढ़: हरियाणा राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग राज्य में संपत्ति पंजीकरण और भू-अभिलेखों के प्रबंधन के लिए क्लाउड आधारित केंद्रीकृत ऑनलाइन प्रणाली वेब-एचएएलआरआईएस (हैलरिस) शुरू करेगा। वर्तमान में इस प्रणाली का पायलट परीक्षण किया जा रहा है। राज्य के सभी जिलों में राजस्व विभाग के साथ जनता के इंटरफेस को सरल बनाने के लिए भूमि रिकॉर्ड एवं संपत्ति पंजीकरण के डिजिटलीकरण और अन्य ई-गवर्नेंस पहलों की प्रगति की समीक्षा करने के लिए राजस्व एवं आपदा प्रबंधन मंत्री कैप्टन अभिमन्यु की अध्यक्षता में हुई एक बैठक में यह जानकारी दी गई।

कैप्टन अभिमन्यु ने विभाग के अधिकारियों को समयबद्ध तरीके से नई पहलें और पायलट परियोजनाएं शुरू करने के निर्देश दिये। बैठक के दौरान मंत्री को बताया गया कि हरियाणा एचएआरआईएस और एचएएलआरआईएस (हैलरिस) सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल करते हुए सम्पत्ति पंजीकरण, म्यूटेशन और जमाबंदी प्रक्रियाओं को एकीकृत करने वाला पहला राज्य है। यह एकीकृत प्रणाली भूमि की बिक्री के पंजीकरण से पहले भू-स्वामी और विक्रेता के हिस्से की स्वत: पुष्टि करती है। यह प्रणाली इस प्रकार पंजीकृत भूमि के म्यूटेशन को स्वीकृति देने की सुविधा भी प्रदान करती है।

कैप्टन अभिमन्यु ने राजस्व विभाग द्वारा अक्तूबर, 2014 के बाद भूमि पंजीकरण की प्रक्रिया को सरल बनाने के लिए शुरू की गई ई-पंजीकरण, ई-स्टैंपिंग और डीड पंजीकरण के लिए ऑनलाइन अपॉइंटमेंट जैसी अनेक पहलों की सराहना की। राज्य के गांवों में स्थापित सांझा सेवा केंद्रों के माध्यम से भी अपॉइंटमेंट ली जा सकती है। वित्त विभाग की ई-ग्रास प्रणाली, जोकि देश में एक अनूठी पहल है, का उपयोग करके ई-पंजीकरण को ई-स्टैम्पिंग प्रणाली के साथ एकीकृत किया गया है। राजस्व मंत्री ने राजस्व अदालत मामले मुद्रीकरण प्रणाली के तहत हुई प्रगति पर भी संतोष व्यक्त किया, जिसका उद्देश्य सक्षम राजस्व अदालत कार्य प्रशासन की सुविधा प्रदान करना है। उन्हें बताया गया कि सभी विवादित भूमियों की विस्तृत जानकारी लंबित राजस्व अदालती मामलों के लिए पब्लिक डोमेन में उपलब्ध करवाई गई ।

विभाग ने ई-खसरा गिरदावरी मोबाइल एप्लिकेशन भी विकसित किया है और आधार-सक्षम संपत्ति पंजीकरण प्रणाली तथा भूमि अभिलेखों के साथ आधार को जोडऩे के लिए एक पायलट परियोजना को भी लागू किया है। शहरी क्षेत्रों में संपत्तियों के ई-पंजीकरण को शहरी स्थानीय निकाय, हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण और हरियाणा राज्य औद्योगिक एवं आधारभूत संरचना विकास निगम के साथ जोड़ा गया है। पंजीकरण डीड और रिकार्ड ऑफ राइट्स की प्रति पर हस्ताक्षर करने के लिए डिजिटल हस्ताक्षर शुरू किए गए है। बैठक में राजस्व विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव एवं वित्तायुक्त श्रीमती केशनी आनंद अरोड़ा, राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग के सचिव श्रीमती सुकृति लिखी एवं श्री विजेन्द्र कुमार, गुरुग्राम मंडल के आयुक्त श्री डी. सुरेश, एनआईसी के राज्य सूचना अधिकारी, और एनआईसी एवं राजस्व विभाग के अन्य अधिकारी भी उपस्थित थे।

(आहूजा)

Advertisement
Advertisement
Next Article