कल यानि की 8 सिंतबर को पीएम मोदी ने सेंट्रल विस्टा एवेन्यू प्रोजेक्ट का उद्घाटन किया। इस दौरान पीएम मोदी ने नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा का अनावरण किया है। इसके साथ ही कर्तव्यपथ का उद्घाटन किया गया। इस कार्यक्रम में देशभर के बड़े से बड़े हस्ती शामिल हुए। बॉलीवुड भी इस कार्यक्रम में पीछे नहीं रहा। एक्ट्रेस कंगना रनौत इस कार्यक्रम में शामिल हुई। इस दौरान कंगना ने मीडिया से बात भी की। मीडिया से बात करते हुए कंगना ने कुछ ऐसा कह दिया कि उनकी वीडियो अब जमकर वायरल हो रही है।
कल पीएम मोदी ने नेता जी सुभाष चंद्र बोस की मुर्ति का अनावरण किया। किसी भी भारतीय के लिए ये बहुत ही गर्व का पल था। कंगना ने इसपर बात करते हुए कहा कि ‘मैं हमेशा से यह कहती आई हूं और आज भी कहूंगी कि हमें जो आजादी मिली है वो नेताजी सुभाष चंद्र बोस और वीर सावरकर जैसे कई क्रांतिकारियों की वजह से मिली है। हमें यह आजादी मांगने से नहीं मिली है, हमने आजादी अपने हक से ली है। हमें इसके लिए संघर्ष करना पड़ा है।’
सिर्फ इतना ही नहीं कंगना ने आगे कहा कि मैंने हमेशा से कहा है कि मैं नेता सुभाषचंद्र वादी हूं, मैं गांधीवादी नहीं हूं। इससे बहुत से लोग परेशान रहते हैं कि मैं ऐसी बातें करती हूं। सबकी अपनी-अपनी विचारधारा होती है। मेरा मानना है कि नेता जी और सावरकर जी के संघर्ष को छुपा दिया गया। एक ही पक्ष दिखाया कि एक गाल पर थप्पड़ मारे तो दूसरा आगे कर दो, या दांडी यात्रा से आजादी मिली जबकि ऐसा नहीं है। लाखों लोगों ने खून बहाया है।
कंगना ने कहा कि नेता जी ने पूरे विश्व के लोगों की नजर भारत की दुर्दशा पर केंद्रित किया। चाहे उन्होंने वर्ल्ड वॉर में हिस्सा लिया या अपनी सेना बनाई। उन्होंने आजादी की लड़ाई में हिस्सा लिया। इससे अंग्रेजो पर दबाव बना, उन्होंने सत्ता किसी को भी दे दी हो लेकिन नेताजी सत्ता के भूखे नहीं थे बल्कि आजादी के भूखे थे।
कंगना का ये वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है। कुछ लोग उन्हें ट्रोल कर रहे हैं तो वहीं, कुछ कंगना से सहमति जता रहे हैं। एक यूजर ने कंगना की वीडियो पर कमेंट करते हुए लिखा कि वह सावरकर की कहानी वाली फिल्म क्यों नहीं चुनती? इंदिरा गांधी के बारे में सभी जानते हैं। एक अन्य यूजर ने लिखा कि इसका इंटरव्यू जरूरी नहीं होता हर बात पर।
एक यूजर ने कंगना को आंटी बुलाते हुए लिखा कि आंटी, नेता जी आपके सावरकर को नापसंद करते थे और कई बार कह चुके थे। और अगर वह इससे अधिक समय तक जीवित रहे होते, तो निश्चित रूप से उन्होंने आरएसएस को भी भंग कर दिया होता। पढ़िए नेता जी का थोड़ा इतिहास।