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PM MODI : आधुनिक सोच और सनातन संस्कृति के संगम थे महामना

08:41 PM Dec 25, 2023 IST | Deepak Kumar
New Delhi, Dec 25 (ANI): Prime Minister Narendra Modi being felicitated with the portrait of Pandit Madan Mohan Malaviya at the release of the first series of 11 volumes of 'Collected Works of Pandit Madan Mohan Malaviya' on his 162nd birth anniversary, at Vigyan Bhavan, in New Delhi on Monday. (ANI Photo/Shrikant Singh)

PM MODI प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को अपने संबोधन में कहा कि पंडित मदन मोहन मालवीय की तरह मुझे भी काशी की सेवा करने का मौका मिला है। यह मेरे लिए गर्व की बात है। पंडित मदन मोहन मालवीय की 162वीं जयंती के अवसर पर उन्होंने यह बयान दिया। इस दौरान पीएम मोदी ने 'कलेक्टेड वर्क्स ऑफ पंडित मदन मोहन मालवीय' की 11 खंडों की पहली श्रृंखला जारी की। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि यह कार्यक्रम हर भारतीय के लिए प्रेरणा का श्रोत है जो भारतीयता में विश्वास रखते हैं। उन्होंने कहा कि आज महामना मदन मोहन मावलीय की जयंती और साथ ही अटल बिहारी वाजपेयी की भी जयंती है।

हमारी सरकार ने उन्हें भारत रत्न दिया

पीएम मोदी ने कहा कि सौभाग्यशाली हूं कि हमारी सरकार ने उन्हें भारत रत्न दिया। मेरे लिए महामना जी अन्य कारणों से भी खास हैं। उनकी ही तरह मुझे भगवान ने काशी की सेवा करने का मौका दिया। मैं सौभाग्यशाली हूं कि मैंने वाराणसी से लोकसभा चुनाव में नामांकन दाखिल किया। प्रधानमंत्री ने कहा कि महामना जैसे व्यक्तित्व का जन्म शताब्दियों में एक बार होते हैं जो अपने समय के महान स्कॉलर थे। उनके जैसे लोग शताब्दियों में एक बार पैदा होते हैं। वह अपने समय के महान स्कॉलर थे। वो सनातन मूल्यों और आधुनिक सोच के संगम थे। हमारी सरकार का सौभाग्य है कि हमने महामना जी को भारत रत्न से नवाजा।

राष्ट्र प्रथम के संकल्प के साथ काम किया

उन्होंने कहा, 'महामना जिस भूमिका में रहें, उन्होंने हमेशा राष्ट्र प्रथम के संकल्प के साथ काम किया और उसे सर्वोपरि रखा। वे देश के लिए बड़ी से बड़ी ताकतों से टकराएं, मुश्किल से मुश्किल माहौल में भी उन्होंने देश के लिए संभावनाओं के बीच बोए।' प्रधानमंत्री ने कहा कि मेरा सौभाग्य है कि जब मैंने वाराणसी से नामांकन भरा तो उसे प्रपोज करने वाले पंडित मदन मोहन मालवीय के परिवार के ही सदस्य थे। काशी आज नई ऊंचाईयों को छू रहा है। महामान की काशी के प्रति बहुत आस्था थी। इस कारण मुझे भी काशी की सेवा करने का मौका मिल रहा है, जो मेरे लिए सौभाग्य की बात है।

 

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