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'जय श्री राम' के नारे से नाराज Vande Bharat Express के उद्घाटन के दौरान मंच से दूर रहीं ममता बनर्जी

पश्चिम बंगाल की पहली वंदे भारत एक्सप्रेस के उद्घाटन समारोह में शुक्रवार सुबह विवाद खड़ा हो गया, जब ‘जय श्री राम’ के नारों से खफा मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंच साझा करने से इनकार कर दिया।

03:03 PM Dec 30, 2022 IST | Desk Team

पश्चिम बंगाल की पहली वंदे भारत एक्सप्रेस के उद्घाटन समारोह में शुक्रवार सुबह विवाद खड़ा हो गया, जब ‘जय श्री राम’ के नारों से खफा मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंच साझा करने से इनकार कर दिया।

 जय श्री राम  के नारे से नाराज vande bharat express के उद्घाटन के दौरान मंच से दूर रहीं ममता बनर्जी
पश्चिम बंगाल की पहली वंदे भारत एक्सप्रेस के उद्घाटन समारोह में शुक्रवार सुबह विवाद खड़ा हो गया, जब ‘जय श्री राम’ के नारों से खफा मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंच साझा करने से इनकार कर दिया। वह पूरे कार्यक्रम के दौरान मंच से सटी एक कुर्सी पर बैठी रहीं। यहां से उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की मां हीराबेन मोदी के निधन पर शोक व्यक्त किया।
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‘जय श्री राम’ के नारे
शुक्रवार सुबह जैसे ही मुख्यमंत्री हावड़ा स्टेशन के उद्घाटन स्थल पर पहुंचीं, वहां मौजूद बीजेपी समर्थकों ने ‘जय श्री राम’ के नारे लगाए। मंच पर मौजूद केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने तब भाजपा समर्थकों को नियंत्रित करने की पूरी कोशिश की और उनसे नारेबाजी करने से परहेज करने का अनुरोध किया। लेकिन मुख्यमंत्री ने मंच पर आने से इनकार कर दिया। रेल मंत्री उनसे बार-बार मंच पर बैठने की गुहार लगाते दिखे, जिसे उन्होंने ठुकरा दिया।
जल्द ही राज्य के राज्यपाल सी.वी. आनंद बोस कार्यक्रम स्थल पर पहुंचे और मुख्यमंत्री के साथ बातचीत करते देखे गए। शुरूआत में ममता ने भाषण देने से भी इनकार कर दिया। लेकिन राज्यपाल के बार-बार अनुरोध के बाद वह भाषण के लिए तैयार हो गईं, जो उन्होंने मंच पर आए बिना दिया।
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कार्यक्रम को कुछ मयार्दाओं का पालन करना चाहिए
यह पहली बार नहीं है जब मुख्यमंत्री ने ‘जय श्री राम’ के नारे लगाने पर आपत्ति जताई है। 23 जनवरी 2021 को कोलकाता के विक्टोरिया मेमोरियल हॉल में नेताजी सुभाष चंद्र बोस की जयंती के मौके पर भाजपा समर्थकों ने नारेबाजी की। इस मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अन्य केंद्रीय मंत्री मौजूद थे। उस समय मुख्यमंत्री ने कहा कि किसी भी सरकारी कार्यक्रम को कुछ मयार्दाओं का पालन करना चाहिए। इस तरह के एक समारोह में किसी भी आमंत्रित व्यक्ति का अपमान करना नासमझी है। इसलिए विरोध में मैं यहां कुछ भी कहने से इनकार करती हूं।
हम राजनीतिक शिष्टाचार में विश्वास करते हैं
इस बीच शुक्रवार की सुबह इस घटनाक्रम को लेकर सियासी घमासान शुरू हो गया। राज्य के नगरपालिका मामलों और शहरी विकास मंत्री और कोलकाता नगर निगम के मेयर फिरहाद हकीम ने कहा, जय श्री राम मंदिर या घर में शुद्ध मन से कहा जाना चाहिए। लेकिन भाजपा समर्थक इस नारे का इस्तेमाल हमारे मुख्यमंत्री को चिढ़ाने के लिए कर रहे हैं। अगर हम चाहते तो उन्हें तुरंत रोक सकते थे, लेकिन हम राजनीतिक शिष्टाचार में विश्वास करते हैं।’
भाजपा की लोकसभा सदस्य लॉकेट चटर्जी ने कहा कि वंदे भारत एक्सप्रेस का उद्घाटन करने के लिए जब प्रधानमंत्री ऑनलाइन दिखाई दिए तो जय श्री राम के नारे लगे। उन्होंने कहा, नारे मुख्यमंत्री को परेशान करने के लिए नहीं लगाए गए थे।
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