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अमृतसर में शांतिपूर्ण रहा श्रमिक संगठनों का आंदोलन

न्यूनतक वेतन 18 हजार रूपये किया जाए। अमृतसर के टैक्सटाइल उद्योग में काम करने वाले पारवलूंम के मत्रदूरों के वेतन में 20 फीसदी की बृद्धि की जाए।

07:26 PM Jan 08, 2019 IST | Desk Team

न्यूनतक वेतन 18 हजार रूपये किया जाए। अमृतसर के टैक्सटाइल उद्योग में काम करने वाले पारवलूंम के मत्रदूरों के वेतन में 20 फीसदी की बृद्धि की जाए।

विभिन्न ट्रेड यूनियनों के दो दिवसीय हड़ताल के आह्वान पर अमृतसर जिला में समूह औद्योगिक संस्थान, बैंक, बीमा कंपनियां, बिजली, डाकघर और ट्रांसपोर्ट आदि के कर्मचारी मंगलवार को हड़ताल पर रहे। भंडारी पुल पर आयोजित रैली को संबोधित करते हुए एटक की पंजाब इकाई के सचिव अमरजीत सिंह आसल ने केंद्र और पंजाब सरकार की मजदूर विरोधी नीतियों की निंदा करते हुए कहा कि केंद्र की भाजपा सरकार मजदूर सुरक्षा कानूनों को खत्म कर रही है।

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इस अवसर पर सीटू, एचएमएस, इंटक, सीटू और बैंक यूनियनों के नेताओं ने भी संबोधित किया। उन्होने कहा कि सरकार ठेकेदारी प्रथा को बढ़वा दे रही है। भाजपा सरकार नये रोजगार देने की बजाए पहले से दिए गए रोजगारो को भी छीन रही है। हायर एंड फायर का नियम बेदर्दी के साथ लागू किया जा रहा है।

पंजाब के औद्योगिक मत्रदूरों की न्यूनतम मजदूरी में पिछले छह वर्षों से बृद्धि नहीं की गई है। हाई ड्राफ्ट स्कीम के नाम पर पंजाब का ईंट भट्टा उद्योग बंद की जा रहा है। यूनियन नेताओं ने कहा कि हाई ड्राफ्ट स्कीम से पंजाब के तीन हत्रार के करीब भट्टों में से 422 भट्टे ही चलते रहेंगे7 उन्होने मांग की है कि भट्टा मत्रदूर के रोत्रगार को मुख्य रखते हुए हाई ड्राफ्ट स्कीम को कुछ समय के लिए बंद किया जाये। मत्रदूरों का न्यूनतक वेतन 18 हजार रूपये किया जाए। अमृतसर के टैक्सटाइल उद्योग में काम करने वाले पारवलूंम के मत्रदूरों के वेतन में 20 फीसदी की बृद्धि की जाए।

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