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Gen-Z के आगे झुके PM ओली, सोशल मीडिया से हटाया बैन, प्रदर्शन में 19 की मौत

09:05 AM Sep 09, 2025 IST | Neha Singh
gen z के आगे झुके pm ओली  सोशल मीडिया से हटाया बैन  प्रदर्शन में 19 की मौत
Nepal Protest
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Nepal Protest: नेपाल में सोमवार को जेन जी द्वारा सोशल मीडिया पर प्रतिबंध के खिलाफ हुए विरोध प्रदर्शन में हालात हिंसक हो गए। जेन जी प्रद्रशनकारियों के आगे नेपाल की सरकार झुक गई। प्रदर्शन उग्र होने के बाद सरकार ने सोशल मीडिया ऐप्स से बैन हटा लिया है। इस प्रर्दशन में  हालात की गंभीरता को देखते हुए नेपाल सरकार ने सोमवार शाम बालुवाटार में हुई कैबिनेट बैठक में एक उच्च स्तरीय जांच समिति के गठन का निर्णय लिया है।

Nepal Social Media Ban: 15 दिनों में रिपोर्ट सौंपेगी समिति

कैबिनेट बैठक में यह निर्णय लिया गया कि यह समिति आगामी 15 दिनों के भीतर अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंपेगी। एक मंत्री ने जानकारी दी कि जांच समिति के सदस्यों के नाम मंगलवार सुबह तक सार्वजनिक कर दिए जाएंगे। प्रदर्शनकारियों की मुख्य मांग सरकार द्वारा सोशल मीडिया प्रतिबंध को वापस लेना था।  लेकिन जब प्रदर्शनकारियों और सुरक्षाबलों के बीच झड़प हुई, तो स्थिति बेकाबू हो गई। भीड़ को नियंत्रित करने के लिए पुलिस ने बल प्रयोग किया, जिसमें 19 लोग मारे गए और 250 से ज्यादा लोग घायल हुए।

Nepal Protest
Nepal Protest

Nepal Curfew: गृहमंत्री ने दिया इस्तीफा

इस गंभीर स्थिति की नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए गृह मंत्री रमेश लेखक ने इस्तीफा दे दिया है। वहीं, इस बीच, सोमवार को कैबिनेट की बैठक में प्रधानमंत्री केपी ओली शर्मा ने अपना रुख दोहराया कि सोशल मीडिया पर प्रतिबंध जारी रहेगा। जानकारी के अनुसार, मंगलवार को युवाओं के साथ-साथ समाज के बुजुर्ग और परिवारों के लोग भी प्रदर्शन में शामिल होंगे। गौरतलब है कि 4 सितंबर को नेपाल सरकार ने फेसबुक, इंस्टाग्राम, यूट्यूब, व्हाट्सऐप सहित 26 सोशल मीडिया प्लेटफॉर्मों पर प्रतिबंध लगाने का आदेश दिया था, जिसके विरोध में नेपाल के युवा सड़कों पर उतर कर प्रदर्शन कर रहे हैं।

Nepal Curfew
Nepal Curfew

Nepal Protest: क्या बोले उप प्रधानमंत्री

सरकार द्वारा गठित की गई जांच समिति अब इस पूरी घटना के पीछे की वास्तविक स्थिति, पुलिस कार्रवाई और हिंसा के कारणों की जांच करेगी।  वहीं, नेपाल के पूर्व उप प्रधानमंत्री राजेंद्र महतो ने कहा, "प्रतिबंध तुरंत हटाने की सख्त जरूरत है। सोशल मीडिया पर पूरी तरह से प्रतिबंध नहीं लगाया जाना चाहिए, इसके विकल्प भी होने चाहिए। दोषियों को कड़ी सजा मिलनी चाहिए, लेकिन घायल प्रदर्शनकारियों के साथ मानवीय व्यवहार किया जाना चाहिए। कर्फ्यू लगाने से विरोध प्रदर्शन नहीं रुकेगा, बल्कि यह पूरे देश में फैल जाएगा। सरकार को इसे गंभीरता से लेना चाहिए और बिना देर किए कार्रवाई करनी चाहिए।"

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