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दिल्ली और पंजाब के बीच हुए ज्ञान आदान-प्रदान समझौते को लेकर विपक्षी दलों ने केजरीवाल पर साधा निशाना

दिल्ली और पंजाब के बीच हुए ‘ज्ञान आदान-प्रदान समझौते’ को लेकर विपक्षी दलों भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस ने मंगलवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधा तथा आरोप लगाया कि यह राष्ट्रीय राजधानी से पंजाब की आम आदमी पार्टी सरकार को ‘नियंत्रित’ करने का उनका तरीका है।

10:49 PM Apr 26, 2022 IST | Shera Rajput

दिल्ली और पंजाब के बीच हुए ‘ज्ञान आदान-प्रदान समझौते’ को लेकर विपक्षी दलों भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस ने मंगलवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधा तथा आरोप लगाया कि यह राष्ट्रीय राजधानी से पंजाब की आम आदमी पार्टी सरकार को ‘नियंत्रित’ करने का उनका तरीका है।

दिल्ली और पंजाब के बीच हुए ‘ज्ञान आदान-प्रदान समझौते’ को लेकर विपक्षी दलों भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस ने मंगलवार को दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधा तथा आरोप लगाया कि यह राष्ट्रीय राजधानी से पंजाब की आम आदमी पार्टी सरकार को ‘नियंत्रित’ करने का उनका तरीका है।
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दोनों राज्यों के बीच के समझौते पर केजरीवाल और पंजाब में उनके समकक्ष भगवंत मान ने हस्ताक्षर किए।
भाजपा नेता मनजिंदर सिंह सिरसा ने आरोप लगाया कि इस समझौता का मकसद केजरीवाल को पंजाब की नौकरशाही को ‘नियंत्रित’ करने में सक्षम बनाना है।
उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘पंजाब और दिल्ली सरकार के बीच यह समझौता पंजाब के हितों और संप्रभुता को अरविंद केजरीवाल के पास गिरवी रखने से कम नहीं है। केजरीवाल जी… पंजाब को नियंत्रित करने और जब्त करने का ईस्ट इंडिया कंपनी जैसा आपका एजेंडा पंजाबियों को स्वीकार्य नहीं है! मुख्यमंत्री भगवंत मान, हम आपसे आग्रह करते हैं कि आत्मसमर्पण नहीं करें।’’
दिल्ली कांग्रेस अध्यक्ष ने आप सरकार लगाया आरोप 
दिल्ली कांग्रेस अध्यक्ष अनिल कुमार ने आरोप लगाया कि यह समझौता ‘पंजाब सरकार को असंवैधानिक तरीके से रिमोट (से) कंट्रोल करने का केजरीवाल का ‘कुटिल’ तरीका है।’
कुमार ने दावा किया कि केजरीवाल द्वारा राज्य के मुख्य सचिव सहित पंजाब के विभिन्न वरिष्ठ अधिकारियों से मुलाकात की हाल की घटना ने पंजाब के मुख्यमंत्री की शक्तियों को कमतर बनाया है।
भाजपा सदस्य और दिल्ली विधानसभा में विपक्ष के नेता रामवीर सिंह बिधूड़ी ने समझौते की निंदा करते हुए कहा कि केजरीवाल दिल्ली में बैठकर पंजाब पर शासन करना चाहते हैं। उन्होंने आरोप लगाया, ”इस समझौते के नाम पर केजरीवाल अब पंजाब के मंत्रियों और अधिकारियों को तलब करेंगे तथा दिल्ली से राज्य की सरकार चलाएंगे। यह पंजाब के मुख्यमंत्री को कठपुतली बना देगा।”
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