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परमबीर मामला : दाऊद के सहयोगी से बिल्डर को मिली धमकी की SIT कर रही है जांच

मुंबई पुलिस की विशेष जांच टीम (एसआईटी) भारत के सबसे वांछित आंतकवादी दाऊद इब्राहिम के सहयोगी एवं माफिया छोटा शकील द्वारा एक बिल्डर को रंगदारी के लिए किए गए धमकी भरे फोन कॉल की जांच कर रही है।

11:22 PM Aug 03, 2021 IST | Shera Rajput

मुंबई पुलिस की विशेष जांच टीम (एसआईटी) भारत के सबसे वांछित आंतकवादी दाऊद इब्राहिम के सहयोगी एवं माफिया छोटा शकील द्वारा एक बिल्डर को रंगदारी के लिए किए गए धमकी भरे फोन कॉल की जांच कर रही है।

मुंबई पुलिस की विशेष जांच टीम (एसआईटी) भारत के सबसे वांछित आंतकवादी दाऊद इब्राहिम के सहयोगी एवं माफिया छोटा शकील द्वारा एक बिल्डर को रंगदारी के लिए किए गए धमकी भरे फोन कॉल की जांच कर रही है। अधिकारी ने मंगलवार को यह जानकारी देते हुए बताया कि मामले में आईपीएस अधिकारी परमबीर सिंह और अन्य के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई है।
अधिकारी ने बताया कि सिंह और सात अन्य के खिलाफ दक्षिण मुंबई स्थित मरीन ड्राइव पुलिस थाने में दर्ज वसूली के मामले की जांच के लिए एसआईटी गठित की गई। इससे संबंधित मामले की जांच अपराध शाखा की यूनिट-9 की है।एसआईटी जांच के दौरान प्रकाश में आया कि बिल्डर संजय पूणमिया को कथित तौर पर शकील से नवंबर 2016 में कुछ धमकी भरे फोन कॉल आए थे और नवंबर 2020 में उसके पूर्व साझेदार और रियलिटी डेवलपर श्यामसुंदर अग्रवाल की तरफ से कॉल आए थे।
पुलिस सूत्रों ने बताया कि इन फोन कॉल की जांच में पता चला कि ये पाकिस्तान के कराची से किए गए थे। इसके बाद माफिया डॉन से संपर्क के आरोप में अग्रवाल के खिलाफ महाराष्ट्र संगठित अपराध नियंत्रण अधिनियम (मकोका) के तहत मामला दर्ज किया गया। एसआईटी को संदेह है कि अग्रवाल के खिलाफ मामला फर्जी है और वह इस बात की जांच कर रही है कि अगर फोन कॉल वर्ष 2016 में भी आए थे जो प्राथमिकी दर्ज करने में देरी क्यों हुई।
सूत्रों के मुताबिक एसआईटी को आशंका है कि अग्रवाल से वसूली के लिए उसके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई। अग्रवाल वसूली मामले में मुंबई के पूर्व पुलिस आयुक्त सिंह के खिलाफ दर्ज प्राथमिकी में शिकायतकर्ता है।
अग्रवाल ने आरोप लगाया है कि सिंह और अन्य पुलिस अधिकारियों ने उनके साझेदार पूणमिया और उनके सहयोगी सुनील जैन के साथ मिलकर साजिश रची और उनसे 15 करोड़ रुपये की रंगदारी मांगी।
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