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RBI ने गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों को दी राहत

रिजर्व बैंक ने गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों और आवास ऋण कंपनियों (एचएफसी) के लिये नकद कर्ज का प्रवाह बढ़ाने को लेकर शुक्रवार को और उपायों की घोषणा की।

11:18 AM Oct 20, 2018 IST | Desk Team

रिजर्व बैंक ने गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों और आवास ऋण कंपनियों (एचएफसी) के लिये नकद कर्ज का प्रवाह बढ़ाने को लेकर शुक्रवार को और उपायों की घोषणा की।

मुंबई : रिजर्व बैंक ने गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियों (एनबीएफसी) और आवास ऋण कंपनियों (एचएफसी) के लिये नकद कर्ज का प्रवाह बढ़ाने को लेकर शुक्रवार को और उपायों की घोषणा की। इन उपायों के तहत बैंक एनबीएफसी और एचएफसी को जितना अधिक कर्ज देंगे उन्हें उसी के बराबर अपने पास की सरकारी प्रतिभूतियों को रिजर्व बैंक के पास रख कर उसके आधार पर कर्ज लेने के लिए इस्तेमाल की छूट होगी। इससे बैंकों के पास कर्ज देने योग्य धन बढ़ सकता है और वे अधिक कर्ज सहायता देने की स्थिति में होंगे। यह सुविधा 19 अक्टूबर को एनबीएफसी/ एचएफसी पर बैंकों के बकाया कर्ज के स्तर से ऊपर दिए गए कर्ज के लिए होगी और आगामी दिसंबर तक जारी रहेगी। उम्मीद है कि इससे बैंकों को एचएफसी/एनबीएफसी वर्ग की इकाइयों के लिए के लिए अधिक नकद सहायता उपलब्ध कराने में सुविधा होगी।

गौरतलब है कि बुनियादी परियोजनाओं के लिए वित्त पोषण करने वाले कंपनी समूह आईएल एंड एफएस की कंपनियों द्वारा कुछ कर्जों के भुगतान में चूक के बाद एनबीएफसी क्षेत्र के लिए कर्ज सुविधा में मुश्किलें आ रही हैं। आरबीआई ने एक अधिसूचना में कहा गया है कि बैंकों को एनबीएफसी और एचएफसी पर 19 अक्टूबर की स्थिति के ऊपर के अपने बकाया कर्ज के बराबर राशि की सरकारी प्रतिभूतियों को रिजर्व बैंक से धन लेने के लिए इस्तेमाल करने की छूट होगी। एसएलआर या सांविधिक तरलता (नकदी लायक प्रतिभूति) अनुपात व्यवस्था के तहत बैंकों को अपनी सावधि और मांग जमाओं के एक हिस्से को आसनी से बिकने वाली सरकारी प्रतिभूतियों में लगाना होता है। अभी यह सीमा 19.5 प्रतिशत है।

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रिजर्व बैंक के 27 सितंबर के परिपत्र के अनुसार बैक को पहली अक्तूबर से एसएलआर की शर्तों का पालन करते हुए 15 प्रतिशत के बराबर सरकारी प्रतिभूतियों को रिजर्व बैंक के पास रख कर धन लेने की छूट है। उससे पहले नकदी जुटाने की सुविधा के तहत उन्हें 13 प्रतिशत के बराबर प्रतिभूतियों को नकदी की सुविधा के लिए इस्तेमाल की छूट थी। नए परिपत्र के अनुसार बैंकों को शुक्रवार के बाद एनबीएफसी और एचएफसी पर अतिरिक्त बकाये के बराबर की राशि की प्रतिभूतियों पर रिजर्व बैंक से कर्ज लेने की सुविधा होगी।

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