W3Schools
For the best experience, open
https://m.punjabkesari.com
on your mobile browser.
Advertisement

ठाकरे को हाई कोर्ट से झटका! शिवसेना के नाम व चुनाव चिन्ह पर EC फैसले के खिलाफ उद्धव की याचिका खारिज

दिल्ली हाई कोर्ट ने शिवसेना पार्टी के नाम और चुनाव चिह्न के इस्तेमाल पर रोक लगाने के चुनाव आयोग के अंतरिम आदेश के खिलाफ दायर महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की याचिका मंगलवार को खारिज कर दी।

05:50 PM Nov 15, 2022 IST | Desk Team

दिल्ली हाई कोर्ट ने शिवसेना पार्टी के नाम और चुनाव चिह्न के इस्तेमाल पर रोक लगाने के चुनाव आयोग के अंतरिम आदेश के खिलाफ दायर महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की याचिका मंगलवार को खारिज कर दी।

ठाकरे को हाई कोर्ट से झटका  शिवसेना के नाम व चुनाव चिन्ह पर ec फैसले के खिलाफ उद्धव की याचिका खारिज
Advertisement
दिल्ली हाई कोर्ट ने शिवसेना पार्टी के नाम और चुनाव चिह्न के इस्तेमाल पर रोक लगाने के चुनाव आयोग के अंतरिम आदेश के खिलाफ दायर महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की याचिका मंगलवार को खारिज कर दी।जस्टिस संजीव नरूला ने कहा कि यह शिवसेना के दोनों गुटों और आम लोगों के हित में होगा कि शिवसेना के धनुष और तीर के चुनाव चिन्ह और नाम के इस्तेमाल  पर आयोग की कार्यवाही जल्द ही समाप्त हो। हाई कोर्ट ने आयोग से इस मुद्दे पर जल्द से जल्द निर्णय करने को कहा।कोर्ट ने कहा, “ मौजूदा याचिका को खारिज किया जाता है।”
Advertisement
इस वर्ष के शुरु में महाराष्ट्र के वर्तमान मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने ठाकरे के खिलाफ विद्रोह का झंडा बुलंद किया था और उनपर कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के साथ अप्राकृतिक गठबंधन करने का आरोप लगाया था।शिवसेना के 55 में से 40 से ज्यादा विधायक शिंदे के साथ चले गए थे जिसके बाद ठाकरे को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा था।इसके बाद शिंदे गुट ने पार्टी के नाम और चुनाव चिन्ह पर दावा करते हुए कहा कि वही असली शिवसेना है।
आदेश पारित करने में दिखाई जल्दबाजी
आयोग ने 8 अक्टूबर को अपने अंतरिम आदेश में ठाकरे और शिंदे की अगुवाई वाले शिवसेना के दोनों गुटों को मुंबई की अंधेरी सीट के उपचुनाव के दौरान पार्टी का नाम और चुनाव चिन्ह इस्तेमाल करने से रोक दिया था।ठाकरे ने पिछले महीने हाई कोर्ट का रुख कर आयोग के इस आदेश को रद्द करने की गुजारिश की थी।याचिका में आरोप लगाया गया है कि आयोग ने मौखिक सुनवाई के अनुरोध के ठाकरे के आवेदन के बावजूद सुनवाई का अवसर दिए बिना आदेश पारित करने में अनुचित जल्दबाजी दिखाई।ठाकरे ने अपनी याचिका में दावा किया है कि पार्टी का चुनाव चिन्ह उसकी पहचान है, जिसका इस्तेमाल शिवसेना की स्थापना के बाद से किया गया है। 1966 में उनके पिता बाल ठाकरे ने पार्टी की स्थापना की थी।

Advertisement
Advertisement
Author Image

Advertisement
×