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Waqf के नाम पर भड़काऊ बयान देने वालों पर कड़ी कार्रवाई हो: Shahjad poonawala

वक्फ संशोधन बिल पर धमकियों का विरोध, शहजाद पूनावाला ने की निंदा

04:24 AM Mar 17, 2025 IST | Syndication

वक्फ संशोधन बिल पर धमकियों का विरोध, शहजाद पूनावाला ने की निंदा

waqf के नाम पर भड़काऊ बयान देने वालों पर कड़ी कार्रवाई हो  shahjad poonawala

भाजपा प्रवक्ता शहजाद पूनावाला ने सोमवार को एक वीडियो संदेश जारी कर वक्फ संशोधन बिल के नाम पर भड़काऊ बयानबाजी और धमकियों का विरोध किया। उन्होंने विशेष रूप से मोहम्मद अदीब द्वारा दिए गए बयान की कड़ी निंदा की, जिसमें उन्होंने वक्फ संशोधन बिल के खिलाफ खुलेआम धमकी दी थी। पूनावाला ने इसे सर तन से जुदा करने वाली मानसिकता करार देते हुए कहा कि यह धमकी केवल संसद को चुनौती देने वाली नहीं, बल्कि देश में अराजकता फैलाने की कोशिश भी है।

भाजपा प्रवक्ता शहजाद पूनावाला ने कहा कि वक्फ के नाम पर अब धमकी देने वाले भड़काऊ बयान पूरी तरह से सामने आ चुके हैं। जिस प्रकार मोहम्मद अदीब ने बयान दिया है कि दिखा देंगे हम हश्र जगदंबिका पाल अगर वक्फ संशोधन बिल पास हुआ, यह सरेआम धमकी है। यह सर तन से जुदा करने वाली मानसिकता को दर्शाता है। यह धमकी दी जा रही है कि अगर संसद ने यह बिल पारित कर दिया तो वे संसद में उस बिल को पारित कराने वाले सांसदों को हश्र दिखा देंगे।

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उन्होंने कहा कि यह सड़क की ताकत को संसद पर हावी करने की बात कर रहे हैं। कभी कोई कहता है शाहीन बाग बना देंगे, कभी कोई कहता है हश्र दिखा देंगे, कभी कोई सड़कों पर उतर कर फैसले करने की धमकी देता है। और इन्हें समर्थन कौन कर रहा है? एआईएमआईएम, तृणमूल कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, कांग्रेस पार्टी। ये लोग संविधान की बात करते हैं, लेकिन शरिया को ऊपर रखते हैं। संविधान की बात करते हैं, लेकिन धमकी की दुकान को बढ़ावा देते हैं।

उन्होंने आगे कहा कि इन लोगों के खिलाफ न केवल कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए, बल्कि कांग्रेस पार्टी और जो अन्य दल इन्हें राजनीतिक वैधता देते हैं, उन पर भी सवाल उठने चाहिए। क्या कांग्रेस पार्टी सड़कों पर न्याय चाहती है? क्या वह सड़कों को जाम करवाना चाहती है? क्या वह शाहीन बाग जैसी स्थिति बनाना चाहती है? क्या वह धमकी वाली राजनीति करना चाहती है? या फिर वह संसदीय और संवैधानिक प्रक्रियाओं में विश्वास करती है?

पूनावाला ने सवाल उठाया कि राहुल गांधी, अखिलेश यादव, ममता बनर्जी और आरजेडी के नेता जो संविधान की बात करते हैं, क्या यह संवैधानिक है? यह दिखाता है कि इनकी मानसिकता बैलेट की नहीं, बल्कि बुलेट की है। इनकी मानसिकता संविधान के बजाय शरिया को बढ़ावा देती है और देश में अराजकता और दंगों का माहौल बनाने की कोशिश कर रही है। यही वही लोग हैं जिन्होंने सीएए के नाम पर दंगे करवाए थे, और अब वक्फ के नाम पर भड़काने की कोशिश कर रहे हैं।

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