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TB मरीज खुद लगा रहा इंजेक्शन, महोबा जिला अस्पताल में लापरवाही का Video Viral

11:23 AM Jun 29, 2025 IST | Neha Singh
Mahoba Hospital Viral video Screenshot

Mahoba Hospital: उत्तर प्रदेश के महोबा में एक ऐसा मामला सामने आया है, जो स्वास्थ्य सेवाओं की बदहाली को उजागर करता है। यहां सरकारी जिला अस्पताल में एक टीबी मरीज को जनरल वार्ड में भर्ती किया गया, इतना ही नहीं उसकी देखभाल के लिए कोई स्टाफ भी नहीं था। टीबी मरीज खुद को इंजेक्शन लगा रहा है। जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है। अब अस्पताल प्रबंधन ने जांच की बात कही है। वायरल वीडियो में एक युवक, जिसे टीबी मरीज बताया जा रहा है, वार्ड नंबर-1 में खुद को डेयरी डेक्सा का इंजेक्शन लगाता नजर आ रहा है। यह इंजेक्शन टीबी के इलाज में इस्तेमाल होता है और इसे प्रशिक्षित स्वास्थ्यकर्मी की देखरेख में दिया जाना चाहिए। लेकिन वीडियो में न तो कोई डॉक्टर मौजूद है और न ही कोई नर्स।

अन्य लोगों में संक्रमण का डर

मरीज के खुद को इंजेक्शन लगाने से न सिर्फ उसकी जान को खतरा बढ़ गया, बल्कि दूसरे मरीजों में भी संक्रमण का डर फैल गया है। टीबी मरीज को जनरल वार्ड में रखने पर उठे सवाल सबसे बड़ी लापरवाही यह है कि टीबी जैसी संक्रामक बीमारी से पीड़ित मरीज को अलग टीबी वार्ड में रखने की बजाय जनरल वार्ड नंबर-1 में भर्ती किया गया। इस वार्ड में पहले से ही अन्य बीमारियों से पीड़ित मरीज और छोटे बच्चे भर्ती हैं।

हवा से फैलता है टीबी

टीबी एक ऐसी बीमारी है जो हवा से फैलती है और ऐसे में मरीज को जनरल वार्ड में रखना दर्जनों मरीजों और उनके तीमारदारों की जान जोखिम में डालना है। वीडियो वायरल होने के बाद वार्ड में दहशत का माहौल है। मरीज सुनीता शुक्ला ने बताया कि हमने कई बार अस्पताल प्रशासन से शिकायत की कि टीबी मरीज को हमारे बीच न रखा जाए, लेकिन किसी ने ध्यान नहीं दिया।

जिला अस्पतालों में लापरवाही की इंतहा

इस मामले में जब जिला अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक (सीएमएस) डॉ. पवन अग्रवाल से बात की गई तो उन्होंने गोलमोल जवाब देते हुए सिर्फ जांच की बात कही। जिला अस्पताल में डॉक्टरों और स्टाफ की लापरवाही का यह पहला मामला नहीं है, बल्कि लगातार ऐसा हो रहा है। कुछ दिन पहले ही जहर खाने वाले एक मरीज को इमरजेंसी में लाया गया था, जहां उसे एक्टिवेटेड चारकोल की जगह कोयला मिलाकर पिला दिया गया था। जब उसकी हालत बिगड़ी तो उसे हायर सेंटर रेफर कर दिया गया। अब इस घटना ने एक बार फिर बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है।

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