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राजस्थान चुनाव में आई कांग्रेस के सामने ये 3 बड़ी चुनौतियां ! क्या गहलोत और पायलट के हाथ मिलाने से मिट गयी पार्टी की परेशानियां?

08:55 AM Sep 28, 2023 IST | Nikita MIshra

इस साल देश में लोकसभा चुनाव होने से पहले ऐसे तीन राज्य हैं जहां विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। और इन तीनो ही राज्यों में राजनीतिक पार्टियों अपनी ताकत दिखाने में जुटी हुई है। हालांकि आपको बता दें की राजस्थान राज्य में इस माह के अंदर बीजेपी और कांग्रेस दोनों ने ही जीत हासिल करने के लिए अपनी कड़ी मेहनत दिखाई है। इतना ही नहीं बल्कि कांग्रेस ने तो सचिन पायलट और अशोक गहलोत को भी एक साथ एक ही मंच पर खड़ा कर दिया ताकि, चुनाव में किसी भी बात की कोई कमी न हो लेकिन फिर भी कांग्रेस के सामने अभी भी ऐसी 3 बड़ी चुनौतियाँ हैं जिनको अगर वो पार कर लेती हैं तो शायद इस बार भी चुनावी गद्दी वो अपने नाम कर पाए। आइये जानते हैं की वो 3 बड़ी चुनौतियाँ आखिरकार है क्या ?

क्या अशोक गहलोत हिंदू विरोधी हैं?

चुनाव से पहले भाजपा ने कांग्रेस पर कई आरोप लगाए हैं और आरोपी में से एक है कि अशोक गहलोत का हिंदू विरोधी होना और यही एक मुद्दा है जो सबसे बड़ा मुद्दा बनकर सामने आया है। और आपको बता दे कि अशोक गहलोत की सरकार पर भाजपा कई बार हिंदू विरोधी होने का भी आरोप लगाते रही है लेकिन यह मुद्दा अभी बैक फुट पर है हालांकि कांग्रेस ने अपने रणनीति बदलकर इस बार हिंदू तीर्थ स्थलों में कई काम किए हैं और कई योजनाएं भी बनाई है और उनका पहला चुनौती भी यही रहेगा की हिंदू वोट बैंक उनके खाते में ही जाए और बीजेपी के लगाया आरोप वह जनता के सामने गलत साबित कर सके।

अपनी ही सरकार पर ताना बुन रहे हैं राजेंद्र गुढ़ा

कुछ वक्त पहले ही कांग्रेस में ही मंत्री रहते हुए राजस्थान विधानसभा में राजेंद्र गुढ़ा ने कांग्रेस सरकार पर या आरोप लगाया था कि वह महिलाओं पर हो रहे अत्याचार को रोकने में विफल रही है। इतना ही नहीं बल्कि पार्टी का हिस्सा रहते हुए भी महिलाओं पर अत्याचार जैसे बयान देने के साथ-साथ विधानसभा में राजेंद्र गुढ़ा की लाल डायरी वाली बात भी इस साल चुनावी मुद्दा बनाकर फंस चुकी है। दरअसल जुलाई के महीने में राजेंद्र विधानसभा में एक लाल डायरी लेकर पहुंचे थे जहां उन्होंने दावा किया था की शायरी के अंदर अशोक गहलोत के खिलाफ पूरी आरोपी की लिस्ट है उन्होंने कहा था कि संकट के वक्त कांग्रेस ने जितनी भी विधायकों को खरीदा उसका पूरा लिस्ट इस डायरी में लिखा हुआ है। तो कांग्रेस का दूसरा चुनौती भी यही रहेगा की वो इस लाल डायरी को गलत साबित कर सके।

5 सालों के ट्रेंड को बदलना

तीसरी सबसे बड़ी चुनौती की राजस्थान में हर 5 साल में सरकार बदलने का ट्रेन चलता रहा है और इसी ट्रेंड को इस बार कांग्रेस बदलकर रखना चाहती है और दिखाना चाहती है कि यह कोई ट्रेंड नहीं है बल्कि समय के साथ लोगों का विश्वास एक पार्टी से दूसरी पार्टी पर चला जाता है और इस बार भी वे लोगों का विश्वास अपनी तरफ शामिल करना चाहती है।

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