देवी सरस्वती को ये पांच चीजें वसंत पंचमी के दिन जरूर करें अर्पित
इस साल 29 जनवरी बुधवार को वसंत पंचमी का त्योहार पूरे देश में मनाया जाएगा। देवी सरस्वती की विशेष पूजा वसंत पंचमी पर करने की परंपरा होती है। माघ महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि
12:09 PM Jan 28, 2020 IST | Desk Team
इस साल 29 जनवरी बुधवार को वसंत पंचमी का त्योहार पूरे देश में मनाया जाएगा। देवी सरस्वती की विशेष पूजा वसंत पंचमी पर करने की परंपरा होती है। माघ महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को हर साल वसंत पंचमी का त्योहार मनाते हैं। माता सरस्वती की पूजा का विशेष महत्व छात्रों और कलाकारों का होता है। माता सरस्वती को ज्ञान और बुद्धि की देवी के तौर पर भी जाना जाता है।
कहते हैं कि माता सरस्वती की पूजा इस दिन करने से व्यक्ति को लाभ की प्राप्ति होती है। अगर ज्ञान और विवेक छात्र अपनी जिंदगी में पाना चाहते हैं तो इसके लिए कुछ खास बातों का ध्यान माता सरस्वती की पूजा के दौरान जरूर रखें। माता सरस्वती की सबसे प्रिय 5 चीजें जरूर पूजा के समय रखें। चलिए जानते हैं माता सरस्वती की सबसे प्रिय वस्तुओं के बारे में-
पीले रंग के फूल माता सरस्वती को बहुत ही पसंद हैं। पीले रंग के फूलों से इन दिन माता सरस्वती की पूजा करें। गेंदे और सरसों के फूल माता को पूजा में चढ़ा सकते हैं इससे वह प्रसन्न हो जाएंगी और अपने भक्तों पर अपनी कृपा बरसा देंगी।
बूंदी का प्रसाद माता सरस्वती को बहुत पसंद है। बूंदी पीले रंग की होती है और गुरु से यह संबंधित है। इतना ही नहीं ज्ञान के कारक ग्रह में भी यह आती है। गुरु अनुकूल होते हैं अगर आप बूंदी माता सरस्वती को समर्पित करते हैं। साथ ही आपके ज्ञान में जो भी बाधाएं आती हैं वह भी ऐसा करने से दूर हो सकती हैं।
पीले रंग का विशेष महत्व वसंत पंचमी के दिन होता है। यही वजह है कि पीले रंग के वस्त्र सफेद की बजाए चढ़ाए जाते हैं क्योंकि ऐसा करना शुभ होता है। मान्यता है कि पीले रंग के वस्त्र वसंत पंचमी के दिन पहनने चाहिए।
पेन और कॉपी माता सरस्वती की पूजा में जरूर रखनी चाहिए। ऐसा करने से बुुध की स्थिति अच्छी होती है और व्यक्ति की बुद्धि भी इससे बढ़ती है। साथ ही इंसान की स्मरण की शक्ति तेज होती है।
वसंत पंचमी के लिए केसर और पीला चंदन का तिलक करना चाहिए और लगाना भी चाहिए। ज्योतिशास्त्र में गुरु से संबंधित से इसे कहा गया है। इससे ज्ञान और धन दोनों ही व्यक्ति के जीवन में अच्छा होता है।
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