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मॉनसून में खुद को ऐसे रख सकते हैं फिट और फाइन, मजबूत होगी इम्युनिटी, पास नहीं फटकेगी बीमारी

मानसून में इम्युनिटी बढ़ाने के लिए अपनाएं ये घरेलू उपाय

03:05 AM May 29, 2025 IST | IANS

मानसून में इम्युनिटी बढ़ाने के लिए अपनाएं ये घरेलू उपाय

मॉनसून में खुद को ऐसे रख सकते हैं फिट और फाइन  मजबूत होगी इम्युनिटी  पास नहीं फटकेगी बीमारी

मॉनसून में इम्युनिटी को मजबूत बनाए रखने के लिए विशेषज्ञों की सलाह है कि भारतीय रसोई में उपलब्ध खाद्य पदार्थों का सेवन करें। सेलिब्रिटी न्यूट्रिशनिस्ट पूजा मखीजा के अनुसार, स्वस्थ आंत आपके इम्युनिटी सिस्टम को बेहतर बनाती है। त्रिफला, जीरा और अजवाइन जैसे तत्व पाचन को सुधारते हैं और सूजन को कम करते हैं।

नई दिल्ली, 29 मई (आईएएनएस)। 25 मई से नौतपा की शुरुआत हो चुकी है, यानी कि नौ दिनों तक धरती तपिश में रहती है। जानकारी के अनुसार पृथ्वी और सूर्य के बीच इस दरमियान दूरी कम हो जाती है, जिससे तपन शुरू हो जाती है। इस तपन, गर्म हवा और उमस के बाद किसी चीज का इंतजार रहता है तो वो है ठंडक, जो बारिश देती है। लेकिन झमाझम बारिश में भीगने से पहले विशेषज्ञ कुछ एहतियात बरतने को कहते हैं, जिससे आपकी खुशी के रंग में भंग न पड़े।

झमाझम हो या नन्हीं बूंदें, इन्हें देखते ही मन तरोताजा हो उठता है। हालांकि, इस दौरान कमजोर इम्युनिटी की वजह से कई समस्याएं भी आपके घर बिन बुलाए मेहमान की तरह पहुंच सकती हैं। इस बीच देश के कई राज्यों से कोरोना के मामले भी सामने आए हैं। स्वास्थ्य विशेषज्ञ ऐसी कई चीजों के सेवन की सलाह देते हैं, जिससे आपकी इम्युनिटी मजबूत होती है। खास बात है कि ये चीजें आमतौर पर भारतीय रसोईघरों में मौजूद होती हैं।

सेलिब्रिटी न्यूट्रिशनिस्ट पूजा मखीजा ने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो शेयर किया, जिसमें उन्होंने बताया कि हम अपनी इम्युनिटी को मजबूत कैसे बना सकते हैं। उन्होंने बताया, “इम्युनिटी बढ़ाने वाले खाद्य पदार्थों के बारे में बहुत बात करते हैं, खासकर मानसून के आसपास। लेकिन सच यह है कि अगर आपका पेट खुश नहीं है, तो आपकी इम्युनिटी भी खुश नहीं रह सकती। याद रखिए कि 70 प्रतिशत प्रतिरक्षा कोशिकाएं हमारी आंत में होती हैं। ऐसे में अगर आंत स्वस्थ और पर्याप्त रूप से मजबूत नहीं है, तो वह विटामिन सप्लीमेंट, जिंक, विटामिन डी को अवशोषित नहीं कर सकता।”

हेल्थ एक्सपर्ट के अनुसार, अधिक एंटीबायोटिक्स का सेवन या ज्यादा तनाव होने पर माइक्रोबायोम खराब हो जाता है, या जिसे ‘लीकी गट’ कहा जाता है। अपने माइक्रोबायोम को मजबूत करने के लिए गर्म खाने का सेवन करना चाहिए और गुनगुने पानी में अजवाइन-जीरा, सौंफ डालकर पीना चाहिए।

मुलेठी, त्रिफला, जीरा, एलोवेरा, अजवाइन, सौंफ भी आंत की परत को आराम पहुंचाते हैं और सूजन को भी कम करते हैं।

त्रिफला डिटॉक्सीफाई करने में मदद करता है, जिन लोगों को कब्ज की समस्या होती है, उनके लिए भी त्रिफला बेहतर ऑप्शन है। त्रिफला आपकी प्रतिरक्षा को बढ़ाता है।

जीरा का काम एंजाइम्स को उत्तेजित करना होता है। यह एपिजेनिन जैसे एंटीऑक्सीडेंट से भरपूर होता है, जो आंत के लिए फायदेमंद होता है। अजवाइन के सेवन से गैस और सूजन को कम किया जा सकता है। इसमें थाइमोल होता है, जो एक प्राकृतिक रोगाणुरोधी और एंटीस्पास्मोडिक है।

सौंफ आंत की परत को आराम पहुंचाता है और ऐंठन से राहत देती है। इसमें एनेथोल होता है, जिसमें ऐंठन-रोधी और हल्की एस्ट्रोजेनिक गतिविधि होती है। हार्मोनल बदलावों के दौरान महिलाओं के लिए यह बोनस की तरह होता है। यह सूजन को शांत करता है और पाचन को सुचारू बनाता है, खासकर भारी या मसालेदार भोजन के बाद।

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