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ये भारत की सदी और नए अवसरों का युग है : पीएम मोदी

भारत की उपलब्धियों ने भारत की सफलताओं ने पूरे विश्व में एक नई उम्मीद जगाई है।

01:11 AM Mar 07, 2025 IST | Rahul Kumar Rawat

भारत की उपलब्धियों ने भारत की सफलताओं ने पूरे विश्व में एक नई उम्मीद जगाई है।

ये भारत की सदी और नए अवसरों का युग है   पीएम मोदी

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को एक टीवी चैनल के कार्यक्रम में कहा कि आज पूरी दुनिया कह रही है कि ये भारत की सदी है। भारत की उपलब्धियों ने भारत की सफलताओं ने पूरे विश्व में एक नई उम्मीद जगाई है। जिस भारत के बारे में कहा जाता था, ये खुद भी डूबेगा और हमें भी ले डूबेगा, वो भारत आज दुनिया की ग्रोथ को ड्राइव कर रहा है। आज़ादी के 65 साल बाद भी भारत दुनिया की 11वें नंबर की इकॉनमी था। बीते दशक में हम दुनिया की पांचवें नंबर की इकॉनमी बने, और अब उतनी ही तेजी से दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने जा रहे हैं।

पीएम मोदी ने कहा कि मैं आपको 18 साल पहले की भी बात याद दिलाता हूं। ये 18 साल का खास कारण है, क्योंकि जो लोग 18 साल की उम्र के हुए हैं, जो पहली बार वोटर बन रहे हैं, उनको 18 साल के पहले का पता नहीं है, इसलिए मैंने वो आंकड़ा लिया है। 18 साल पहले यानी 2007 में भारत की वार्षिक सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) एक लाख करोड़ डॉलर तक पहुंची थी। आसान शब्दों में कहें तो ये वो समय था, जब एक साल में भारत में एक लाख करोड़ डॉलर की इकॉनॉमिक एक्टिविटी होती थी। अब आज देखिए क्या हो रहा है? अब एक क्वार्टर में ही लगभग एक लाख करोड़ डॉलर की इकॉनॉमिक एक्टिविटी हो रही है। इसका क्या मतलब हुआ? 18 साल पहले के भारत में साल भर में जितनी इकॉनॉमिक एक्टिविटी हो रही थी, उतनी अब सिर्फ तीन महीने में होने लगी है। ये दिखाता है कि आज का भारत कितनी तेजी से आगे बढ़ रहा है।

पीएम मोदी ने आगे कहा कि मैं आपको कुछ उदाहरण दूंगा, जो दिखाते हैं कि बीते एक दशक में कैसे बड़े बदलाव भी आए और नतीजे भी आए। बीते 10 सालों में, हम 25 करोड़ लोगों को गरीबी से बाहर निकालने में सफल हुए हैं। ये संख्या कई देशों की कुल जनसंख्या से भी ज्यादा है। आप वो दौर भी याद करिए, जब सरकार खुद स्वीकार करती थी, प्रधानमंत्री खुद कहते थे, कि एक रुपये भेजते थे, तो 15 पैसा गरीब तक पहुंचता था, वो 85 पैसा कौन खा जाता था और एक आज का दौर है। बीते दशक में गरीबों के खाते में डीबीटी के जरिए 42 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा ट्रांसफर किए गए हैं।

उन्होंने कहा कि आज हम जिस मोड़ पर खड़े हैं, वहां से भारत के लिए असीम संभावनाएं हैं। ये संभावनाएं हमारी युवा शक्ति से निकल रही हैं। भारत का युवा अब खुद को सिर्फ नौकरी तलाशने वाला नहीं मानता, बल्कि वह नौकरी देने वाला, नवाचार करने वाला, नई ऊंचाइयों को छूने वाला बन रहा है। स्टार्टअप्स से लेकर आत्मनिर्भर भारत अभियान तक, हर जगह युवाओं की भागीदारी बढ़ रही है। अब हमारी सोच सिर्फ एक उपभोक्ता देश बनने की नहीं है, बल्कि भारत आज एक निर्माता राष्ट्र बनने की ओर तेजी से बढ़ रहा है। ‘मेक इन इंडिया’ से लेकर ‘डिजिटल इंडिया’ और ‘वोकल फॉर लोकल’ तक, ये सारे अभियान भारत को एक नई ऊंचाई पर ले जा रहे हैं।

पीएम मोदी ने कहा कि आज जब हम विकसित भारत की बात करते हैं, तो हमें एक समावेशी दृष्टिकोण अपनाना होगा। एक ऐसा भारत जहां कोई गरीब ना रहे, कोई वंचित ना रहे, हर नागरिक के पास अवसर हों, हर व्यक्ति अपने सपनों को साकार कर सके। ये संकल्प सिर्फ सरकार का नहीं, बल्कि हर नागरिक का होना चाहिए। इस संकल्प को पूरा करने में आप सभी युवाओं की बहुत बड़ी भूमिका है। आने वाले वर्षों में जब आप अपनी ऊर्जा, अपने विचार और अपनी मेहनत देश के विकास में लगाएंगे, तो भारत सिर्फ एक विकसित देश नहीं बनेगा, बल्कि पूरी दुनिया के लिए एक प्रेरणा बनेगा। प्रधानमंत्री मोदी ने लोगों से आह्वान किया कि हम सब मिलकर भारत को आगे ले जाने में अपनी भूमिका निभाएं। अपने-अपने क्षेत्र में श्रेष्ठता प्राप्त करें, नवाचार करें, राष्ट्रहित को सर्वोपरि रखें और एक सशक्त, आत्मनिर्भर, और गौरवशाली भारत के निर्माण में योगदान दें।

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Rahul Kumar Rawat

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