ट्रंप ने G-20 समिट का किया बायकॉट, आखिर क्यों साउथ अफ्रीका पर भड़क उठे अमेरिकी राष्ट्रपति?
Trump Boycotts G-20 Summit: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने शुक्रवार को घोषणा की है कि इस साल दक्षिण अफ्रीका में होने वाले जी‑20 शिखर सम्मेलन में किसी भी अमेरिकी सरकारी अधिकारी की भागीदारी नहीं होगी। ट्रम्प के अनुसार, इस निर्णय के पीछे मुख्य कारण दक्षिण अफ्रीका में श्वेत कृषि किसानों के साथ होने वाला कथित व्यवहार है।
Trump Boycotts G-20 Summit: ट्रंप ने क्या कहा?
उन्होंने अपने सोशल मीडिया पोस्ट में लिखा कि यह महज शर्म का विषय है कि जी-20 सम्मेलन दक्षिण अफ्रीका जैसे देश में आयोजित हो रहा है। उन्होंने अफ्रीकी लोगों के साथ हिंसा, जान-माल की हानि और उनकी जमीन व खेतों की ज़ब्ती का उदाहरण दिया। वहीं पूर्व में ट्रम्प ने यह तय कर दिया था कि वे स्वयं इस सम्मेलन में भाग नहीं लेंगे। उस स्थिति में उनकी जगह उपराष्ट्रपति जे. डी. वेंस को भेजा जाना था, लेकिन अब यह भी सुनिश्चित है कि वेंस भी वहां नहीं जाएंगे।
G-20 Summit News: दक्षिण अफ्रीका पर आरोप-प्रत्यारोप
अमेरिकी प्रशासन का आरोप है कि दक्षिण अफ्रीकी सरकार श्वेत किसानों पर हो रहे उत्पीड़न को रोकने में विफल रही है। इनके मुताबिक, इन किसानों को हिंसा का सामना करना पड़ रहा है और उन्हें देश छोड़ने के लिए प्रतिवर्ष अमेरिका में शरण लेना पड़ता है। इनमें कुछ श्वेत दक्षिण अफ्रीकी नागरिक भी शामिल हैं, जिन्हें अपने देश में भेदभाव और हिंसा का सामना करना पड़ा है।
South Africa Response: दक्षिण अफ्रीका की प्रतिक्रिया
दूसरी ओर, दक्षिण अफ्रीकी सरकार ने इन आरोपों को नासमझ तथा हैरानी की बात बताया है। उन्होंने कहा कि श्वेत जनता का जीवन स्तर अश्वेत जनता की तुलना में आमतौर पर बेहतर रहा है, ऐसे में उत्पीड़न का दावा बे‐जोड़ लगता है। राष्ट्रपति सिरिल रामफोसा ने ट्रम्प से व्यक्तिगत रूप से बातचीत कर कहा है कि इन आरोपों में कोई सच्चाई नहीं।
'दक्षिण अफ्रीका को G-20 सदस्यता से बाहर...
इस सप्ताह की शुरुआत में मियामी में एक भाषण के दौरान ट्रम्प ने यह तक कह दिया कि दक्षिण अफ्रीका को जी-20 सदस्यता से बाहर ही कर देना चाहिए। इससे पहले इस साल शुरुआत में अमेरिका के विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने भी जी-20 विदेश मंत्रियों की बैठक का बहिष्कार किया था, क्योंकि उस बैठक का एजेंडा विविधता, समावेशिता और जलवायु परिवर्तन पर आधारित था, जिसे अमेरिका ने समस्या माना। इस तरह, अमेरिका ने स्पष्ट रूप से यह संकेत दे दिया है कि वह दक्षिण अफ्रीका में श्वेत किसानों के कथित साथ-छूत के आरोपों को स्वीकार नहीं कर रहा है और उसी के चलते जी-20 सम्मेलन में शामिल नहीं होगा।
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