Ambala: थाना प्रभारियों की नियुक्ति पर फिर उठे सवाल, DGP के पुराने आदेशों का हवाला
Ambala: हरियाणा पुलिस में थाना प्रभारियों (एसएचओ) की नियुक्ति को लेकर एक बार फिर चर्चा तेज हो गई है। अंबाला जिले के विभिन्न पुलिस थानों में सब-इंस्पेक्टर रैंक के अधिकारियों को एसएचओ के रूप में तैनात किए जाने के बाद, पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) हरियाणा के 2021 के एक पुराने सर्कुलर को फिर से खंगाला जा रहा है। नवंबर 2021 में जारी डीजीपी के सर्कुलर संख्या 16294-16319/ई(III)-3 में स्पष्ट किया गया था कि सब-इंस्पेक्टर रैंक के अधिकारियों को एसएचओ के रूप में तैनात न किया जाए।
क्या कहा गया सर्कुलर में?
सर्कुलर में कहा गया था कि कई जिलों में पर्याप्त संख्या में इंस्पेक्टर उपलब्ध होने के बावजूद, सब-इंस्पेक्टरों को एसएचओ के रूप में तैनात किया जा रहा है, जिससे व्यावसायिक दक्षता प्रभावित होती है। इसमें यह भी निर्देश दिया गया था कि भविष्य में किसी भी सब-इंस्पेक्टर को एसएचओ के रूप में तब तक तैनात नहीं किया जाना चाहिए जब तक कि अत्यधिक आवश्यकता न हो और इंस्पेक्टर की अनुपलब्धता न हो।
थाना प्रभारी के रूप में कार्यभार
इस सर्कुलर की एक प्रतिलिपि अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (ADGP) रोहतक रेंज, रोहतक, महानिरीक्षक (IG) पुलिस, रोहतक रेंज, रोहतक, और उप महानिरीक्षक (DIG) पुलिस, रेलवे और कमांडो, हरियाणा को भी भेजी गई थी, जिसमें उनसे इस संबंध में अपनी सीमा के भीतर स्थिति की समीक्षा करने और अनुपालन सुनिश्चित करने का अनुरोध किया गया था। मौजूदा स्थिति पर गौर करें तो अंबाला जिले के कई महत्वपूर्ण थानों, जैसे अंबाला सदर, नग्गल, बलदेव नगर, पंजोखरा, साहा और मुलाना में वर्तमान में सब-इंस्पेक्टर ही थाना प्रभारी के रूप में कार्यभार संभाल रहे हैं।
सर्कुलर का हो पालन
बलदेव नगर थाने में एक सब-इंस्पेक्टर की हालिया नियुक्ति के बाद यह विषय विशेष रूप से चर्चा का केंद्र बन गया है। इस प्रवृत्ति ने पुलिस विभाग के भीतर ही इस विषय पर आंतरिक चर्चाएं तेज कर दी हैं कि क्या डीजीपी के पुराने सर्कुलर का पूरी तरह से पालन सुनिश्चित किया जा रहा है, या विशेष परिस्थितियों में इन नियमों में ढील दी जा रही है। यह देखना महत्वपूर्ण होगा कि पुलिस विभाग इस नीतिगत मामले में आगे क्या रुख अपनाता है।
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