EWS CASE : EWS कोटे के फैसले पर सुप्रीम कोर्ट पर छोड़ा सवाल
हाल में ही EWS आरक्षण पर सुप्रीम कोर्ट ने मुहर लगा दी है लेकिन आरक्षण को लेकर चलने वाली बहस भविष्य में जारी रहेगा इसे लेकर कई सवाल भी है जिसमें पहला सवाल होगा कि आने वाले वक्त में आरक्षण को सुप्रीम कोर्ट की 9 सदस्यीय बेंच की ओर से तय 50 फीसदी की लिमिट खत्म होगी ?
11:57 AM Nov 09, 2022 IST | Desk Team
पिछले कुछ समय से EWS आरक्षण को लेकर चर्चा तेज हो गई है जिसके बाद हाल में ही EWS आरक्षण पर सुप्रीम कोर्ट ने मुहर लगा दी है लेकिन आरक्षण को लेकर चलने वाली बहस भविष्य में जारी रहेगा इसे लेकर कई सवाल भी है जिसमें पहला सवाल होगा कि आने वाले वक्त में आरक्षण को सुप्रीम कोर्ट की 9 सदस्यीय बेंच की ओर से तय 50 फीसदी की लिमिट खत्म होगी ?
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EWS आरक्षण पर हो रही सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने इस सवाल पर खुले मन से कोई टिप्पणी नहीं की लेकिन बहुमत की जो राय थी उससे इस तरह के संकेत मिल रहे है।आपको बता दें सुनवाई के दौरान अर्टानी जनरल ने सवाल किया कि आरक्षण की 50 फीसदी सीमा पर भी विचार होना चाहिए। वहीं दूसरी तरफ बहुमत वाले जजों का फैसले लिखने वाले जस्टिस दिनेश माहेश्वरी ने कहा कि अदालत ने पहले जो 50 फीसदी की सीमा तय की थी वह एसी नहीं है कि उसमें बदलाव न किया जा सके। उन्होंने कहा 50 फीसदी सीमा की लिमिट संविधान का जरुरी प्रावधान नहीं है। इसके बाद अल्पसंख्य़क मत वाले जजों ने भी 50 फीसदी की लिमिट पर कुछ नहीं कहा। जस्टिस रविंद्र भट की तरफ से कहा गया की तमिलनीडु में 50 फीसदी की लिमिट से ज्यादा आरक्षण को लेकर एक अलग बेंच में सुनवाई चल रही है। बता दें इंदिरा साहनी केस में 9 जजों की बेंच ने कहा था कि आरक्षण वह व्यवस्था है,जिसके तहत किसी वर्ग के संरक्षण और उसे अवसर देने के लिए प्रावधान किए है। इसके तहत माईनारटी सीटें आ सकती है। EWS का मामला सुप्रीम कोर्ट पहुचने के बाद इस पर चर्चा तेज हो गई है । इस केस पर आरक्षण के कई पक्षकारों का कहना है कि इस कोटे को वैधता प्रदान करके सुप्रीम कोर्ट ने 50 फीसदी की लिमिट को खत्म करने का रास्ता साफ कर दिया है।वहीं इस मामले में बिहार के सीएम नीतिश कुमार ने 50 फीसदी की लिमिट को खत्म करने की बात कही है।
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