सुषमा : एक ऐसी नेता जो जनता से केवल एक ट्वीट दूर थीं
05:37 PM Aug 07, 2019 IST
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सुषमा स्वराज का चार दशक का शानदार राजनीतिक करियर रहा और इसमें एक ऐसा भी दौर आया जब उन्होंने मुसीबत में फंसे भारतीयों की स्वदेश वापसी सुनिश्चित करने के लिए किसी भी हद तक जाने की घोषणा की थी और इससे जुड़े तमाम किस्से लोगों के दिल और दिमाग में दर्ज हैं।
ऐसे ही एक किस्सा फैजान पटेल का है। फैजान ने अगस्त 2016 में स्वराज को ट्वीट कर कहा था कि अगर मंत्री ने तेजी से कार्रवाई नहीं की तो उन्हें अपना हनीमून अकेले ही मनाना पड़ेगा। पटेल ने साथ ही अपनी एक तस्वीर पोस्ट की जिसमें उनके बगल की सीट खाली थी और उसमें उनकी पत्नी की तस्वीर थी।
इस ट्वीट को गंभीरता से लेते हुए स्वराज ने कहा,‘‘अपनी पत्नी से कहें कि वह मुझसे संपर्क करें। मैं सुनिश्चित करूंगी कि वह आपके बगल वाली सीट पर हों।’’
इस तरह की मदद पाने वालों में फैजान अकेले नहीं हैं। एक परेशान पत्नी ने ट्वीट कर अजरबेजान की जेल में बंद अपने पति को छुडाने के लिए तत्कालीन विदेश मंत्री से मदद मांगी तो स्वराज ने कहा,‘‘मैंने अजरबेजान में भारतीय दूतावास से इस मामले में रिपोर्ट भेजने को कहा है।’’
स्वराज ने भाई के कैंसर के इलाज के लिए एक बहन के पासपोर्ट आवेदन पर तेजी से कार्रवाई के उसके अनुरोध पर कहा,‘‘आपको तत्काल पासपोर्ट मिल जाएगा।’’
जूडिथ डिसूजा का परिवार उन्हें कभी नहीं भूल सकता। अगस्त 2016 में अफगानिस्तान में संदिग्ध आतंकवादियों ने उन्हें अगवा कर लिया था। स्वराज के अथक प्रयासों से उन्हें सकुशल मुक्त कराया जा सका था।
पाकिस्तान से गीता को लाने और भारत में उसके परिवार से उसे मिलाने की सच्ची घटना से पूरा देश वाकिफ है।
यमन से केरल के फादर टॉम उझहून्नालिल को आईएस के कब्जे से सुरक्षित छुडा़ कर लाना स्वराज की एक और उप्लब्धि है। स्वराज का मंगलवार को निधन हो गया। उनके सहयोगी,समर्थक और उसने मदद पाने वाले ये सारे लोग आज गमजदा हैं और उन्हें याद कर रहे हैं।
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