उत्तराखंड के CM पुष्कर सिंह धामी ने प्लास्टिक मुक्त उत्तराखंड बनाने के लिए शुरू किया अभियान
स्वच्छता और फिट इंडिया मूवमेंट के लिए सीएम पुष्कर सिंह धामी के निर्देश
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने नई दिल्ली स्थित उत्तराखंड सदन से वर्चुअल बैठक में अधिकारियों को प्लास्टिक मुक्त उत्तराखंड, स्वच्छता और फिट इंडिया मूवमेंट के लिए व्यापक कार्ययोजना बनाने के निर्देश दिए। साथ ही इस अभियान में जन जागरूकता और भागीदारी की आवश्यकता पर भी जोर दिया। CM पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि प्लास्टिक मुक्त उत्तराखंड अभियान को और व्यापक स्तर पर चलाया जाना चाहिए। देवभूमि उत्तराखंड अपनी प्राकृतिक सुंदरता के साथ-साथ पर्यटन और जैव विविधता के लिए भी महत्वपूर्ण है। पर्यावरण और जैव विविधता के संरक्षण के लिए सभी को मिलकर प्रयास करने होंगे।
उत्तराखण्ड सदन, नई दिल्ली से अधिकारियों को प्लास्टिक मुक्त उत्तराखण्ड, स्वच्छ भारत मिशन और फिट इंडिया मूवमेंट के संदर्भ में आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। 38वें राष्ट्रीय खेलों को ग्रीन गेम्स की तर्ज पर कराया जाना आज पूरे देश में सराहनीय पहल बन चुकी है। अधिकारियों को निर्देशित किया कि… pic.twitter.com/nUfQVSMPOQ
— Pushkar Singh Dhami (@pushkardhami) January 30, 2025
अभियान को सफल बनाने के लिए जनभागीदारी सबसे जरूरी
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि इस अभियान को सफल बनाने के लिए राज्य के स्कूल, कॉलेज, गैर सरकारी संस्थान और व्यापारिक संगठनों को भी शामिल किया जाना चाहिए क्योंकि किसी भी अभियान की सफलता के लिए जनभागीदारी सबसे जरूरी है। CM पुष्कर सिंह धामी ने अधिकारियों को निर्देश दिए है कि उत्तराखंड में केदारनाथ धाम की तरह अन्य धार्मिक स्थलों और पर्यटक स्थलों पर प्लास्टिक की बोतलों पर QR कोड लगाना चाहिए जिससे प्लास्टिक कचरा प्रबंधन में मदद मिलेगी।
डोर-टू-डोर कूड़े का कलेक्शन शत-प्रतिशत होगा
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि राज्य में स्वच्छता के उच्च मानदण्ड स्थापित करने तथा लोगों को स्वस्थ वातावरण उपलब्ध कराने के लिए स्वच्छता की दिशा में और अधिक प्रभावी प्रयास किये जाएं। डोर-टू-डोर कूड़े का कलेक्शन शत-प्रतिशत किया जाए। लोगों को गीला व सूखा कूड़ा अलग-अलग रखने के लिए जागरूक किया जाए। शहरी व ग्रामीण क्षेत्रों में सफाई व्यवस्था को और सुदृढ़ किया जाए। राज्य में गंगा की सहायक नदियों में स्वच्छता पर विशेष ध्यान देने के लिए निर्देश दिए गए है कि गंगा नदी में स्वच्छ जल छोड़ा जाए।