मतदान डेटा पर सियासी घमासान: चुनाव आयोग ने केजरीवाल के आरोपों को किया खारिज
दिल्ली विधानसभा चुनाव के परिणाम से पहले आम आदमी पार्टी की ओर से एक नया कदम देखने…
दिल्ली विधानसभा चुनाव के परिणाम से पहले आम आदमी पार्टी (AAP) की ओर से एक नया कदम देखने को मिला है। जिसको लेकर राजधानी दिल्ली की सियासत में गर्माहट देखने को मिल रही है। बता दे कि दिल्ली विधानसभा चुनाव के परिणाम 8 फरवरी को आएंगे और आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को कहा कि उनकी पार्टी ने बूथ-वार मतदान डेटा साझा करने के लिए एक विशेष वेबसाइट बनाई है और आरोप लगाया कि चुनाव आयोग ने यह विवरण प्रकाशित करने से इनकार कर दिया था।
केजरीवाल ने फॉर्म 17सी को लेकर सोशल मीडिया पर पोस्ट किया साझा
अरविंद केजरीवाल ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा कि चुनाव आयोग ने कई अनुरोधों के बावजूद फॉर्म 17सी और प्रत्येक विधानसभा में प्रत्येक बूथ पर डाले गए वोटों की संख्या अपलोड करने से इनकार कर दिया है। आम आदमी पार्टी ने एक वेबसाइट बनाई है, जहां हमने हर विधानसभा के सभी फॉर्म 17सी अपलोड किए हैं। इस फॉर्म में प्रत्येक बूथ पर डाले गए वोटों का पूरा विवरण है।
साथ ही उन्होंने आगे लिखा कि हम हर विधानसभा और हर बूथ का डेटा सारणीबद्ध प्रारूप में भी प्रस्तुत करेंगे ताकि हर मतदाता तक जानकारी पहुंच सके। यह ऐसा काम है, जो चुनाव आयोग को पारदर्शिता के लिए करना चाहिए था, लेकिन यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि वे ऐसा करने से इनकार कर रहे हैं।
केजरीवाल के मतदान आंकड़ों के आरोप को चुनाव आयोग ने किया खारिज
चुनाव में मतदान के आंकड़ों को लेकर आप संयोजक द्वारा लगाए गए आरोपों पर दिल्ली के मुख्य चुनाव अधिकारी ने एक्स पर लिखा कि चुनाव संचालन नियम 1961 के नियम 49एस के अनुसार, सभी पीठासीन अधिकारियों ने मतदान के दिन 5 फरवरी 2025 को मतदान केंद्र पर उपस्थित प्रत्येक मतदान एजेंट को फॉर्म 17सी में दर्ज मतों का लेखा-जोखा प्रस्तुत किया था। प्रत्येक मतदान केंद्र पर नियम का अक्षरशः पालन किया गया है।
फॉर्म 17सी : चुनावी पारदर्शिता का महत्वपूर्ण दस्तावेज
फॉर्म 17सी एक महत्वपूर्ण दस्तावेज है, जिसे चुनाव प्रक्रिया के दौरान पीठासीन अधिकारी द्वारा भरा जाता है। यह फॉर्म मतदान केंद्र पर डाले गए वोटों की संख्या और उससे संबंधित अन्य जानकारी दर्ज करने के लिए उपयोग में आता है।
– फॉर्म 17सी में क्या जानकारी होती है?
फॉर्म 17सी में मतदान केंद्र पर कितने मतदाताओं ने मतदान किया, इसकी पूरी जानकारी दर्ज की जाती है। इसमें निम्नलिखित विवरण शामिल होते हैं:
कुल डाले गए वोटों की संख्या – मतदान केंद्र पर कितने वोट डाले गए, इसकी गणना।
वोटिंग प्रक्रिया के बाद की स्थिति – मतदान खत्म होने के बाद केंद्र की स्थिति का रिकॉर्ड।
मतदान केंद्र के अन्य विवरण – संबंधित केंद्र की विशिष्ट जानकारी।
– फॉर्म 17सी कौन भरता है?
चुनाव के दिन यह फॉर्म पीठासीन अधिकारी द्वारा भरा जाता है। उनकी ज़िम्मेदारी होती है कि फॉर्म में दी गई जानकारी सटीक और सही हो, ताकि चुनावी प्रक्रिया में पारदर्शिता बनी रहे।
– फॉर्म 17सी का महत्व
यह फॉर्म चुनाव प्रक्रिया का एक अनिवार्य हिस्सा है, क्योंकि यह मतदान केंद्र पर हुई वोटिंग का आधिकारिक रिकॉर्ड है। इसकी मदद से चुनावी पारदर्शिता सुनिश्चित की जाती है और भविष्य में किसी भी विवाद की स्थिति में यह दस्तावेज साक्ष्य के रूप में उपयोग में आता है।
हाल ही में, फॉर्म 17सी को लेकर चर्चा तब शुरू हुई जब कुछ राजनीतिक दलों ने इसके डेटा को सार्वजनिक करने की मांग की। इससे साफ है कि यह दस्तावेज न केवल प्रशासनिक दृष्टि से, बल्कि राजनीतिक दृष्टि से भी बेहद महत्वपूर्ण है।