बुजुर्गों के सम्मान की रक्षा का स्तंभ... वरिष्ठ नागरिक केसरी क्लब
समाज में विशेष रूप से परिवारों में जब घर के बड़े लोग बुजुर्ग होने लगते हैं तो…
समाज में विशेष रूप से परिवारों में जब घर के बड़े लोग बुजुर्ग होने लगते हैं तो उनका अपमान और तिरस्कार वो लोग करते हैं जो उनके अपने होते हैं। अपनों के इस दर्द को श्री अश्विनी कुमार मिन्ना ने धर्मपत्नी किरण चोपड़ा के साथ शेयर किया तब उन्होंने किरण चोपड़ा से कहा कि बुजुर्गों के सम्मान और स्वाभिमान की सुरक्षा एक नैतिक जिम्मेवारी ही नहीं बल्कि एक धर्म है जिसे तुमने निभाना है। तब 2003 में एक बंद कमरे में वरिष्ठï नागरिक केसरी क्लब की स्थापना हुई और आज इसकी देश और विदेश में 25 से ज्यादा शाखाएं हैं। इसकी थीम थी कदमों की धूल नहीं माथे की शान अर्थात बुजुर्गों को कदमों की धूल न समझा जाये, वे हमारे माथे की शान और सम्मान हैं। वरिष्ठ नागरिक केसरी क्लब बुजुर्गों के लिए न केवल पेंशन उपलब्ध कराता है बल्कि उनकी विभिन्न बीमारियों के उपचार की भी व्यवस्था करता है। बुजुर्गों को खुश रखने के लिए तरह-तरह की प्रतियोगिताएं जिनमें अंताक्षरी, मोनो एक्टिंग, डांस और फैशन परेड शामिल है का आयोजन देश और विदेश में किया गया। इस प्रेरणा दायी अभियान की सूत्रधार किरण चोपड़ा बनी। वह वरिष्ठï नागरिक केसरी क्लब की विधिवत रूप से चेयरमैन हैं।