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आखिर क्यों Mahendra Singh Dhoni के अपने ही देश में इतने सारे हेटर्स ?

आखिर क्यों भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान Mahendra Singh Dhoni के अपने ही देश में इतने हेटर्स क्यों हैं? इतिहास से देखा जाए तो धोनी

07:27 PM Jun 25, 2018 IST | Desk Team

आखिर क्यों भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान Mahendra Singh Dhoni के अपने ही देश में इतने हेटर्स क्यों हैं? इतिहास से देखा जाए तो धोनी

आखिर क्यों भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान Mahendra Singh Dhoni के अपने ही देश में इतने हेटर्स क्यों हैं? इतिहास से देखा जाए तो धोनी के दुश्मन बाहर नहीं बल्कि देश के अंदर हैं। यह बात भारतीय क्रिकेट टीम के सफल कप्तान महेंद्र सिंह धोनी पर अच्छे से लागू होती है।

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Mahendra Singh Dhoni की कप्तानी में भारतीय क्रिकेट टीम ने आईसीसी के सारे ही टूर्नामेंटों में जीत हासिल की है। आईसीसी क्रिकेट विश्व कप, टी20 विश्व कप और चैंपिंयस ट्राफी इन सभी टूर्नामेंटों में जीत हासिल की है। महेंद्र सिंह धोनी की कप्तानी में टीम तीन बार आईपीएल विश्व कप और चेन्नई सुपर किंग्स भी तीन बार जीत चुकी हैं। धोनी को यह भी कहा जाता है कि वह किसी भी चीज को छू लें तो वह सोना बन जाती है।

धोनी के जिस तरह फैन्स हैं उसी तरह से उनके हेटर्स भी हैं। आज हम आपको धोनी के उन विवादों के बारे में बताएंगे जब उनके फैंस ने उन्हें काफी गलत सुनाया था।

 Dhoni ने सहवाग, गंभीर और बाकि दिग्गज खिलाडिय़ों का कैरियर कर दिया खत्म

सबसे पहले तो हम आपको बता दें कि टीमों का चयन करने के लिए एक अलग चयन समिति होती और धोनी टीम में सभी सदस्यों को नहीं चयन करते हैं।

चयनकर्ता धोनी से सिर्फ कुछ ही सुझावों पर परामर्श करते हैं। तो यह कहना बिल्कुल ही गलत है कि धोनी ने गंभीर, सहवाग और युवराज का कैरियर दूसरों के लिए खत्म कर दिया।

केवल गांगुली ने ही युवाओं को मौका दिया,  Dhoni ने कभी भी युवा को आगे बढऩे का मौका नहीं दिया

अगर धोनी ने किसी युवा को मौका नहीं दिया तो अश्विन, विजय, धवन, भुवनेश्वर, शामी, जडेजा जैसे खिलाड़ी कहां से आए? क्या वह सब अचानक आसमान से गिरे हैं? हम सब दादा का सम्मान करते हैं लेकिन यह बोलेें कि धोनी ने कोई नए टैलनट को मौका नहीं दिया है तो यह गलत होगा।

Dhoni विश्व कप फाइनल में आगे आ गए थे और युवराज की सारी प्रशंसा चुरा ली थी

Mahendra Singh Dhoni पर यह आरोप सबसे ही बेकार है। अगर धोनी उस मैच को हार जाते तो यह कहना बिल्कुल सही होता कि वह आगे भी आए और मैैच जीत नहीं पाए। यह मैच क्रिकेट टूर्नामेंट का सबसे बड़ा मैच औैर फाइनल मैच था। इस मैच में अपने आपको आगे लाने की बहुत जरूरत थी।

Dhoni ने विदेश में कई टेस्ट हारे हैं और वह अच्छे कप्तान नहीं है

इस आरोप को लगाते समय हटर्स भूल जाते हैं कि वो Mahendra Singh Dhoni थे जब भारत टेस्ट रैंकिंग में नंबर 1 के स्थान पर पहुचा था। इसके अलावा, उन सभी विदेशी पर्यटनों में टीम सामूहिक रूप से एक इकाई के रूप में विफल रही।

बल्लेबाजों में उनके प्रदर्शन के साथ चमक नहीं थी, गेंदबाजों को अनजान था और धोनी भी उन विदेशी पर्यटन में बल्ले के साथ महान नहीं था। लेकिन धोनी को बाहर करने और उसे बलात्कार करने के लिए अनुचित लगता है।

बल्लेबाज के रूप में Dhoni की कोई प्रतिभा नहीं है। वह तकनीकी रूप से गलत खिलाड़ी है

यह एक और हास्यास्पद सिद्धांत है कि नफरत वर्षों से प्रचार कर रहे हैं। मुझे बताएं कि एकदिवसीय मैचों में 50 से ज्यादा कौशल वाले खिलाड़ी, ओडीआई में भारत के लिए सफल जीतने के प्रयासों में लगभग 40 परीक्षण और औसत 100 से अधिक औसत कैसे हो सकते हैं?

बेशक धोनी की एक अपरंपरागत बल्लेबाजी शैली है, लेकिन यही वह है जो अपनी बल्लेबाजी, और भी अधिक, अद्वितीय और विशेष बनाता है। वह बिना किसी संदेह के है कि गेम ने कभी भी देखा है कि सर्वश्रेष्ठ विकेट-कीपर बल्लेबाजों में से एक है।

अधिक जानकारियों के लिए बने रहिये  पंजाब केसरी के साथ

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